ग्रामीणों को भी विश्वास नहीं हो रहा कि साइकिल पुरस्कार जीतने वाला लड़का ऐसा कर सकता है।
जागरण संवाददाता, वाराणसी। चोलापुर के तेवर गांव में सोमवार की सुबह आई एक खबर ने पूरे गांव को स्तब्ध कर दिया। सूचना यह थी कि डेढ़ दशक पूर्व दसवीं में प्रथम श्रेणी से पास कर पुरस्कार में साइकिल जीतने वाले गांव के होनहार बेटे को भिवाड़ी (राजस्थान) पुलिस ने नींद की नकली दवा बनाने की फैक्ट्री चलाने और 32 करोड़ के 22 किलो केमिकल बरामदगी के आरोप में गिरफ्तार किया है। विज्ञापन हटाएं सिर्फ खबर पढ़ें
छोटे बेटे अमन यादव संग खेती-बाड़ी कर इज्जत की जिंदगी जी रहे पिता बेटे की करतूत जानने के बाद सदमे में हैं। उन्होंने ग्रामीणों से ऐसी दूरी बनाई कि बात करने के सारे प्रयास विफल हो गए। सोमवार को घर वालों ने बात करने के लिए फोन मिलाया तो बात नहीं हो सकी। जबकि पहले रोज बात होती थी। बात नहीं होने के बाद जब किसी माध्यम से जान परिचय के लोगों से बात हुई तो यह जानकारी सामने आई।
बचपन से होनहार रहे बेटे कृष्णा से श्रीयादव को भी ढेरों उम्मीदें थीं। उसने सिंधोरा थाना अंतर्गत पलईपट्टी स्थित स्कूल में 12 वीं तक की पढ़ाई पूरी करने के बाद पिता से इंजीनियरिंग करने की इच्छा जताई तो उसे पांडेयपुर स्थित आर्यभट्ट कोचिंग में दाखिला दिला दी। दो साल तैयारी के बाद कृष्णा आगे की पढ़ाई के लिए बरेली चला गया। वहां किसी कालेज से एमटेक की पढ़ाई पूरी की फिर नौकरी ज्वाइन कर ली। परिवार के लोगों की मर्जी से शादी की तो पत्नी को साथ लेकर गुजरात में रहने लगा। पत्नी अब दो महीने से यहीं रह रही थी।
आठ माह पूर्व कृष्णा अपने गांव तेवर आया था, तब भी उसने गांव में आस-पड़ोस के लोगों को दमन में नौकरी की जानकारी दी थी। अब जब तेवर के ग्रामीणों को कृष्णा के गिरफ्तारी की बात पता चली तो सभी अवाक हैं। उन्हें सहसा भरोसा नहीं हो रहा कि साइकिल पाकर गांव का का नाम रोशन करने वाला बेटा ऐसा करेगा।भाई अमन और कृष्णा की पत्नी बेहद परेशान नजर आए। ग्रामीणों ने बताया कि श्रीयादव चार बहनों व दो भाइयों की शादी खेती-बाड़ी से किए हैं। कृष्णा को दो वर्ष का एक पुत्र है। मां का 15 वर्ष पूर्व निधन हो चुका है। |
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