बुलेट ट्रेन कॉरिडोर के लिए NHSRCL ने जारी किया टेंडर। फोटो जागरण
जागरण संवाददाता, जम्मू। पंजाब के बीच रेल संपर्क को नई ऊंचाइयों पर ले जाने की दिशा में एक और बड़ा कदम उठाया गया है। नेशनल हाई-स्पीड रेल कारपोरेशन लिमिटेड (एनएचएसआरसीएल) ने जम्मू-अमृतसर हाई-स्पीड रेल कारिडोर (एजेएचएसआरसी) के अंतिम एलाइनमेंट डिजाइन तैयार करने के लिए 5.47 करोड़ रुपये का टेंडर जारी किया है। विज्ञापन हटाएं सिर्फ खबर पढ़ें
करीब 240 किलोमीटर लंबे इस हाई-स्पीड रेल कारिडोर के निर्माण से जम्मू–अमृतसर के बीच यात्रा का समय बेहद कम हो जाएगा। यह परियोजना न केवल यात्रियों को तेज और आरामदायक सफर देगी, बल्कि पर्यटन, व्यापार और क्षेत्रीय विकास को भी नई गति प्रदान करेगी। एनएचएसआरसीएल फिलहाल देश की पहली बुलेट ट्रेन परियोजना मुंबई–अहमदाबाद हाई-स्पीड रेल कारिडोर पर कार्य कर रहा है।
इसके अलावा, राष्ट्रीय रेल योजना के तहत कई और संभावित हाई-स्पीड रूट पहचाने गए हैं, जिनमें दिल्ली–वाराणसी, दिल्ली–अहमदाबाद, मुंबई–नागपुर, मुंबई–हैदराबाद, चेन्नई–मैसूर, दिल्ली–अमृतसर और वाराणसी–हावड़ा शामिल हैं। रेल अधिकारियों का कहना है कि जम्मू–अमृतसर हाई-स्पीड कारिडोर पूरा होने पर कश्मीर घाटी तक रेल कनेक्टिविटी को भी मजबूत आधार मिलेगा, जिससे उत्तर भारत में तेज रफ्तार परिवहन का नया युग शुरू होगा।
जम्मू-अमृतसर हाई-स्पीड रेल कारिडोर से यात्रियों को होने वाले लाभ
जम्मू-अमृतसर हाई-स्पीड रेल कारिडोर बनने के बाद यात्रियों को कई तरह के फायदे मिलेंगे। सबसे बड़ा लाभ समय की बचत का होगा जहां अभी सफर में 5 से 6 घंटे लगते हैं, वहीं बुलेट ट्रेन से यह दूरी सिर्फ 2 से 2.5 घंटे में पूरी हो सकेगी।
तेज रफ्तार के साथ-साथ यात्री को एयर-कंडीशन्ड, अत्याधुनिक और सुरक्षित यात्रा का अनुभव मिलेगा। यह ट्रेन पर्यावरण के अनुकूल होगी, जिससे प्रदूषण में कमी आएगी। इसके साथ ही यह कारिडोर धार्मिक और पर्यटन स्थलों जैसे श्री हरमंदिर साहिब (अमृतसर) और वैष्णो देवी (कटड़ा) के बीच यात्रियों की आवाजाही को आसान बनाएगा।
व्यापार, शिक्षा और रोजगार के नए अवसर खुलेंगे, जिससे जम्मू और पंजाब की अर्थव्यवस्था को नई गति मिलेगी। कुल मिलाकर, यह परियोजना तेज, स्वच्छ और सुविधाजनक यात्रा का नया अध्याय लिखेगी। |