cy520520 • 2025-11-13 01:42:58 • views 988
राज्य ब्यूरो, पटना। बिहार विधानसभा चुनाव के दूसरे चरण का मतदान शांतिपूर्ण ढंग से संपन्न होने के साथ ही पांच चुनाव उपरांत एक नया रिकॉर्ड भी बन गया। अबकी बार किसी भी बूथ पर पुनर्मतदान की जरूरत नहीं पड़ी। राज्य की 243 विधानसभा में 90,7,40 बूथों पर शांतिपूर्ण तरीके से मतदान करा लिया गया है। बिहार के चुनावी इतिहास में यह पहली घटना है जब कहीं भी पुनर्मतदान की नौबत नहीं आई। विज्ञापन हटाएं सिर्फ खबर पढ़ें
आयोग द्वारा जारी रिपोर्ट में बताया गया है कि 2020 विधानसभा आम चुनाव में तीन बूथों पर और 2015 के विधानसभा आम चुनाव में दो स्थानों पर पुनर्मतदान कराया गया था। जबकि लोकसभा चुनाव 2024 में दो स्थानों पर, लोकसभा चुनाव 2019 में तीन स्थानों पर एवं लोकसभा चुनाव 2014 में 96 बूथों पर पुनर्मतदान कराया गया था।
चुनाव आयोग ने इसे मतदाताओं की सजगता, प्रशासन की सख्ती एवं सुरक्षा बलों की मुस्तैदी का परिणाम बताया है। पुनर्मतदान की जरूरत न पड़ना चुनावी प्रक्रिया के प्रति जनता के बढ़ते विश्वास को दर्शाता है। यह भी संकेत है कि बिहार का मतदाता अब लोकतांत्रिक दायित्व को गंभीरता से समझने लगा है।
पिछले तीन लोकसभा एवं दो विधानसभा चुनाव उपरांत पहला ऐसा मौका है जब आयोग के सामने पुनर्मतदान की नौबत नहीं पड़ी है। हालांकि मतदान के दौरान मामूली विवाद एवं बहिष्कार की घटनाएं जरूर घटी।
आयोग को किसी भी बूथ से गंभीर गड़बड़ी या हिंसक झड़प की सूचना नहीं मिली। कुछ स्थानों पर ईवीएम की तकनीकी समस्या सामने आई, लेकिन उन्हें तुरंत बदल दिया गया, जिससे मतदान प्रभावित नहीं हुआ।
आयोग ने सुरक्षा प्रबंधन पर विशेष ध्यान दिया था। केंद्रीय अर्धसैनिक बलों की पर्याप्त तैनाती की गई थी और संवेदनशील बूथों पर वेबकास्टिंग की व्यवस्था थी। इसके चलते किसी भी असामाजिक तत्व को माहौल बिगाड़ने का मौका नहीं मिला।
पहले चरण में हुई कुछ तकनीकी और प्रबंधन संबंधी शिकायतों से सबक लेते हुए आयोग ने इस चरण में विशेष सतर्कता बरती थी। नतीजा यह रहा कि दूसरे चरण में चुनाव पूरी तरह सुव्यवस्थित संपन्न हुआ। आयोग ने मतदाताओं को धन्यवाद देते हुए कहा कि शांतिपूर्ण मतदान ही लोकतंत्र की सबसे बड़ी जीत है।
राजनीतिक विश्लेषकों का मानना है कि इस चरण में पुनर्मतदान की जरूरत न पड़ना चुनावी प्रक्रिया के प्रति जनता के बढ़ते विश्वास को दर्शाता है। अधिकारियों कहना है कि अनुशासन एवं शांति मतगणना के दौरान भी बनी रही तो पूरे चुनावी माहौल में यह एक मिसाल बन जाएगा।
पिछले पांच चुनाव का ब्यौरा
चुनावों में पुनर्मतदान की संख्या
पुनर्मतदान की संख्या वर्ष चुनाव का नाम
02
2015
विधानसभा चुनाव
03
2020
विधानसभा चुनाव
96
2014
लोकसभा चुनाव
03
2019
लोकसभा चुनाव
02
2024
लोकसभा चुनाव
|
|