राज्य ब्यूराे, नई दिल्ली। परिवहन विभाग लंबित चालानों के लिए एमनेस्टी स्कीम (चालान माफी योजना) लागू की याेजना बना रहा है। इस स्कीम के तहत गैर गंभीर 10 साल पुराने तक चालान 70% छूट देकर तक निपटाए जा सकेंगे।
दिल्ली में 2 करोड़ 46 लाख चालान हैं लंबित। सरकार वाहन मालिकों को एक अंतिम मौका देना चाहती है। इसके बाद भी यदि चालान का निपटारा नहीं किया गया, तो भविष्य में किसी तरह की छूट नहीं दी जाएगी।
आप सरकार के समय भी इस योजना को लागू करने का किया प्रयास गया था, मगर किन्ही कारणें से योजना लागू नहीं हो सकी थी। बुधवार को मुख्यमंत्री रेखा गुप्ता की अध्यक्षता में हुई कैबिनेट में भी इस पर चर्चा हुई, मगर अभी कोई फैसला नहीं हो सका है।
परिवहन विभाग के अनुसार राजधानी में कुल 2,46,76,302 चालान लंबित हैं। इनमें सबसे अधिक चालान वर्चुअल कोर्ट (नोटिस ब्रांच) में लंबित है, जिनकी संख्या 1 करोड़ 84 लाख से अधिक है। इसके अलावा वर्चुअल कोर्ट (ऑन द स्पाॅट) चालान 58.68 लाख, डिजिटल कोर्ट में 1.66 लाख, इवनिंग कोर्ट में 43,633 और रेगुलर कोर्ट में करीब एक लाख चालान लंबित हैं। विज्ञापन हटाएं सिर्फ खबर पढ़ें
परिवहन विभाग के अधिकारी ने कहा कि दिल्ली में बिना लाइसेंस के दो लाख से अधिक, बिना पीयूसीसी के 3.73 लाख से अधिक और बिना हेलमेट दुपहिया वाहन चलाने के 2.59 लाख से अधिक चालान लंबित हैं। बगैर हेलमेट वाले वर्षों पुराने हैं। उन्होंने बताया कि बीते 10 सालों से लेकर इस साल अक्टूबर तक के सभी गैर-गंभीर श्रेणी के लंबित चालान इस योजना के दायरे में आएंगे।
सरकार ने केवल कंपाउंडेबल यानी कोर्ट से बाहर जमा कराएं जाने वाले चालानों को ही एमनेस्टी स्कीम में शामिल किया है। ड्रंकन ड्राइविंग, गलत ड्राइविंग, बिना लाइसेंस वाहन चलाना और खतरनाक तरीके से ड्राइविंग जैसे गंभीर उल्लंघनों को इसमें शामिल नहीं किया गया है।
परिवहन विभाग ने केवल कंपाउंडेबल (कोर्ट) से बाहर यानी जो चालान लोक अदालत में भरे जा सकते हैं, उन्हें ही इस एमनेस्टी स्कीम में शामिल किया है। ड्रंकन ड्राइविंग, गलत ड्राइविंग, बिना लाइसेंस वाहन चलाना और खतरनाक तरीके से ड्राइविंग जैसे गंभीर उल्लंघनों को इसमें शामिल नहीं किया गया है।
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