टेक्नोलॉजी डेस्क, नई दिल्ली। Google इन दिनों एंड्रॉयड यूजर्स के लिए नए अलर्ट सिस्टम पर काम कर रहा है। यह सिस्टम बैकग्राउंड में ज्यादा बैटरी कंज्यूम करने वाली ऐप के बारे में यूजर्स को अलर्ट करेगा। इसकी मदद से यूजर्स उन ऐप्स की पहचान कर पाएंगे, जो बैकग्राउंड में ज्यादा बैटरी की खपत करते हैं और डिवाइस की परफॉर्मेंस को प्रभावित करते हैं।
इस फीचर को गूगल प्ले के नए अपडेट में दिया गया है, जो ऐप्स के रिसोर्स यूज करने को ट्रैक करता है। यह ऐसी ऐप्स को हाइलाइट करता है, जो डिवाइस को रेस्ट करने से रोकते हैं। गूगल का कहना है कि इससे यूजर्स यह पता लगा पाएंगे कि कौन-सी ऐप उनकी बैटरी लाइफ के प्रभावित कर रही है।
एंड्रॉयड यूजर्स पिछले काफी समय से बैकग्राउंड में चलने और बैटरी कंज्यूम करने वाली ऐप्स का पता लगाने वाले अलर्ट सिस्टम का इंतजार कर रहे थे। कई सारी ऐप्स वेक लॉक सिस्टम का इस्तेमाल करते हैं, जिसकी मदद से ऐप बैकग्राउंड में एक्टिव रहती है। इस दौरान वे डाउनलोड या म्यूजिक प्लेबैक जैसे फंक्शन चालू रखते हैं। वहीं कुछ ऐप्स की ऑप्टिमाइजेशन इतनी खराब होती हैं कि वे लॉक स्क्रीन के दौरान भी काम करते रहते हैं, जिससे जल्दी-जल्दी बैटरी खत्म होती है। विज्ञापन हटाएं सिर्फ खबर पढ़ें
Google Play पर दिखेगा रेड वार्निंग लेवल
इस समस्या का समाधान Google ने खोज लिया है। गूगल ने इस नई मॉनिटरिंग मेथड को एक्सेसिव पार्शियल वेक लॉक मैट्रिक्स नाम दिया है। यह फीचर यह ट्रैक करता है कि कोई ऐप सीपीयू को कितने लंबे समय तक इस्तेमाल करता है। अगर कोई ऐप लंबे समय तक या फोन बंद होने के दौरान या तय पैरामीटर के अतिरिक्त एक्टिव रहती है तो इसमें रेड वार्निंग लेवल देखने को मिलता है। गूगल प्ले पर यह वार्निंग 1 मार्च 2026 से देखने को मिलेगी। इसमें वार्निंग में यूजर्स को ऐप के बैटरी कंजम्पशन और हाई बैकग्राउंड एक्टिविटी के बारे में अलर्ट दिया जाएगा।
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