deltin51
Start Free Roulette 200Rs पहली जमा राशि आपको 477 रुपये देगी मुफ़्त बोनस प्राप्त करें,क्लिकtelegram:@deltin55com

मोहाली में युवक की सड़क हादसे में मौत, पुलिस ने अज्ञात समझ शव मॉर्चरी में रखा, चार दिन तक परिवार वाले काटते रहे थानों के चक्कर

cy520520 7 day(s) ago views 372

  

चार दिन तक मॉर्चरी में शव रखा, मोहाली पुलिस ने दिखाई अमानवीयता।



जागरण संवादाता, मोहाली। पुलिस की लापरवाही ने एक दिल दहला देने वाली घटना को जन्म दिया है, जो स्थानीय पुलिस के अमानवीय और उदासीन रवैये को बेनकाब करती है। सड़क दुर्घटना में विधवा मां के बेटे 38 वर्षीय महावीर राणा की मौत हो गई, लेकिन पुलिस की घोर लापरवाही के चलते उसके शव को चार दिनों तक मॉर्चरी में अज्ञात रखा गया। इस दौरान परिवार ने थानों के चक्कर काटे और मदद की गुहार लगाई, बिना यह जाने कि उनका बेटा फेज 6 सिविल अस्पताल की मोर्चरी में पड़ा था। परिवार ने पुलिस पर गंभीर आरोप लगाते हुए हिट-एंड-रन की जांच और एफआईआर दर्ज करने की मांग की है। विज्ञापन हटाएं सिर्फ खबर पढ़ें

रामगढ़ के पास पंजाब काॅलोनी निवासी महावीर राणा प्राॅपर्टी खरीदने-बेचने का काम करता था। 6 अक्टूबर को वह अपनी मामी-मामा के पास सोहना गया और शाम करीब 9:20 बजे उनका घर से निकला। लेकिन 9:56 बजे उसका फोन बंद हो गया। चिंतित परिवार ने तुरंत तलाश शुरू की और सोहना पुलिस स्टेशन पहुंचे।

महावीर के मामा आशु रावत ने बताया कि पुलिस ने हमारी गुहार को गंभीरता से नहीं लिया और कहा कि अगले दिन आ जाना। 7 अक्टूबर को दोबारा पहुंचे तो ड्यूटी अधिकारी ने उन्हें एएसआई तलविंदर सिंह के पास भेजा, जिन्होंने रामगढ़ थाने का हवाला दिया कि यह उनका क्षेत्र नहीं है। हताश परिवार ने 9 अक्टूबर को डीएसपी सिटी-1 हरसिमरत सिंह बल से मुलाकात की। उनके निर्देश पर आखिरकार डीडीआर दर्ज हुई और कार्रवाई का वादा किया गया।
10 अक्टूबर को मिली शव की सूचना

अगली सुबह, 10 अक्टूबर को फेज 11 पुलिस स्टेशन से संदेश आया कि महावीर सड़क हादसे में मृत हो गया है और उसका शव फेज 6 सरकारी अस्पताल में रखा है। जब परिवार अस्पताल पहुंचा, तो स्टाफ ने बताया कि शव 6 अक्टूबर की रात से ही मोर्चरी में पड़ा था। अस्पताल के रिकार्ड के अनुसार, फेज 11 पुलिस को 6 अक्टूबर को रात 9:40 बजे सूचना दी गई थी, और मृतक का फोन व पता भी मिल चुका था। फिर भी पुलिस ने परिवार को चार दिनों तक कोई जानकारी नहीं दी। इस दौरान परिवार थानों के चक्कर काटता रहा, बिना यह जाने कि उनका इकलौता बेटा-भाई मॉर्चरी में अज्ञात शव के रूप में पड़ा था।
विधवा मां, बहन और बीमार भाई का सहारा चला गया

महावीर विधवा मां, एक बहन और बीमार भाई का सहारा था। परिवार ने पुलिस पर आरोप लगाया कि वह मामले को गड्ढे से जुड़ी दुर्घटना बताकर टालने की कोशिश कर रहे हैं, जबकि यह स्पष्ट हिट-एंड-रन लगता है। मामा आशु रावत ने कहा कि शव को लेकर अंतिम संस्कार कर दिया है। हम पंजाब गवर्नर और मुख्यमंत्री को पत्र लिखकर न्याय मांगेंगे। उन्होंने पुलिस पर शव को 72 घंटे रखने की प्रक्रिया का हवाला देकर लापरवाही छिपाने का भी आरोप लगाया है।

परिवार ने कहा यदि पुलिस ने समय पर सूचना दी होती तो हमें 4 दिनों तक भटकना न पड़ता। यह लापरवाही नहीं, हत्या जितना बड़ा अपराध है। डीएसपी सिटी-2 हरसिमरन सिंह बल ने कहा कि  अज्ञात शवों के लिए 72 घंटे रखना मानक प्रक्रिया है। यदि लापरवाही हुई है तो पूरी जांच होगी और परिवार को न्याय मिलेगा। भविष्य में ऐसी चूक नहीं होने दी जाएगी। पुलिस ने मामले की जांच शुरू कर दी है, लेकिन परिवार मुकदमा दर्ज करने की बात कह रहा है। -
like (0)
cy520520Forum Veteran

Post a reply

loginto write comments

Previous / Next

Explore interesting content

cy520520

He hasn't introduced himself yet.

210K

Threads

0

Posts

610K

Credits

Forum Veteran

Credits
67354