अफगानिस्तान-पाक में सीजफायर (फाइल फोटो)  
 
  
 
डिजिटल डेस्क, नई दिल्ली। अफगानिस्तान और पाकिस्तान के बीच जारी घातक झड़पों के बीच एक बार फिर सीजफायर पर बात बन गई है। कतर विदेश मंत्रालन के मुताबिक, दोनों पक्ष स्थायी शांति और स्थिरता को मजबूत करने के लिए एक तंत्र स्थापित करने और संघर्ष विराम को आगे भी बनाए रखने के लिए सहमत हुए हैं। विज्ञापन हटाएं सिर्फ खबर पढ़ें  
 
दरअसल, दोनों सरकारों ने वार्ता का नेतृत्व करने के लिए अपने रक्षा मंत्रियों को दोहा भेजा था। यहां दोनें के बीच संघर्ष विराम पर बातचीत हुई। वार्ता की मध्यस्थता कतर और तुर्किये ने की। जिसके बाद अफगानिस्तान और पाकिस्तान तत्काल युद्धविराम पर सहमत हो गए हैं।  
कतर ने जारी किया बयान  
 
पाकिस्तान और अफगानिस्तान ने संघर्ष विराम का फैसला कर लिया है। कतर के बयान में कहा गया है कि दोनों पक्ष स्थायी शांति और स्थिरता को मजबूत करने के लिए तंत्र स्थापित करने पर सहमत हुए, साथ ही युद्धविराम की स्थिरता सुनिश्चित करने के लिए आने वाले दिनों में अनुवर्ती वार्ता आयोजित करने पर भी सहमत हुए।  
शांति बनाए रखने का आह्वान  
 
बता दें कि सऊदी अरब और कतर सहित क्षेत्रीय शक्तियों ने शांति बनाए रखने का आह्वान किया है, क्योंकि हिंसा से क्षेत्र में और अधिक अस्थिरता पैदा होने का खतरा है, जहां इस्लामिक स्टेट समूह और अल-कायदा जैसे समूह फिर से उभरने की कोशिश कर रहे हैं।  
 
गौरतलब है कि इससे पहले दोनों देशों के बीच शुक्रवार को 48 घंटे का संघर्ष विराम लागू हुआ था। लेकिन सीजफायर के बावजूद दोनों ओर से हमले किए गए। इस दौरान पाकिस्तान ने अफगानिस्तान के सीमावर्ती प्रांत पक्तिका में हवाई हमला किया गया, जिसमें तीन क्रिकेटर्स समेत आठ लोगों की मौत हो गई।  
पाकिस्तान ने क्यों किया हमला?  
 
अफगानिस्ता पर किए हमले को लेकर पाकिस्तान का कहना है कि यह खैबर पख्तूनख्वा में सुरक्षाबल परिसर पर हुए आत्मघाती हमले के जवाब में यह हमला किया गया था। पाकिस्तान का कहना है कि उनके हमले में किसी आम नागरिक की मौत नहीं हुई और दर्जनों सशस्त्र लड़ाके मारे गए। पाकिस्तानी सुरक्षा अधिकारियों ने शनिवार को एसोसिएटेड प्रेस को पुष्टि की कि अफगानिस्तान के पूर्वी पक्तिका प्रांत के दो जिलों पर हमले किए गए।  
 
वहीं अफगानिस्तानी अधिकारियों का कहना है कि पाकिस्तान द्वारा किए गए एयर स्ट्राइक में में महिलाओं, बच्चों और स्थानीय क्रिकेटरों समेत कम से कम 10 नागरिक मारे गए। इन हमलों के बाद राष्ट्रीय क्रिकेट बोर्ड ने पाकिस्तान में होने वाली एक आगामी सीरीज का बहिष्कार कर दिया।  
 
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