जागरण संवाददाता, बाहरी दिल्ली। एक सिविल इंजीनियर को लक्जमबर्ग में लाखों रुपये महीने पर नौकरी दिलवाने के नाम पर दो लाख 41 हजार रुपये ठगी का मामला सामने आया है। आरोपित ने कुल तीन लाख रुपये की मांग की थी। विज्ञापन हटाएं सिर्फ खबर पढ़ें  
 
आरोपित की ओर से दिए गए वीजा व ऑफर लेटर को पीड़ित ने लक्जमबर्ग एबेंसी से जांच कराई तो सभी फर्जी निकले। ठगी का पता चलने पर पीड़ित ने इसकी शिकायत अमन विहार थाना पुलिस से की, पुलिस ने संबंधित धाराओं में मामला दर्ज कर जांच शुरू कर दी है।  
 
जानकारी के मुताबिक मंजर आलम परिवार के साथ अमन विहार थाना क्षेत्र में रहते हैं। पीड़ित ने अपनी शिकायत में बताया कि इनका बेटा उमर फारूक सिविल इंजीनियर है। आलम ने बताया कि जब वह बेटे के लिए नौकरी की तलाश कर रहे थे। इस बीच इन्हें एक वाट्सएप ग्रुप पर विदेश में नकौरी दिलवाने का एक विज्ञापन देखा। जिसके मोबाइल नंबर पर संपर्क करने पर आरोपित ने अपना नाम रहीसुद्दीन मलिक बताया।  
 
उसने कम ही समय उनके बेटे को विदेश भेजने की बात कही। दावा था कि वह भारतीय पढ़े लिखे बच्चों को विदेश में उनकी काबिलियत के अनुसार नौकरी दिलवाते हैं। वह उनके बेटे को लग्जमबर्ग में सिविल इंजीनियरिंग नौकरी के लिए भेज देगा। लक्जमबर्ग भेजने का खर्च तीन लाख बताया। उसने बताया कि इस खर्च में वीजा और एयर टिकट का खर्चा भी शामिल है। शिकायतकर्ता का दावा है कि वह एक जनवरी 2025 को शाहीन बाग स्थित आरोपित के घर पर पहुंचे।  
 
उसने तब भी तीन लाख का खर्च बताया। अगले दिन बेटे को मेडिकल कराने और पासपोर्ट एंबेंसी में जमा करने के लिए बुलाया और उसी दिन चेकअप के बाद मेडिकल प्रमाण पत्र बेटे के वाट्सएप पर भेज दिए। बदले में 11 हजार रुपये मेडिकल चेकअप के लिए लिए मांगे और बेटे का पासपोर्ट भी जमा करा लिया। 21 जनवरी को अपने घर बुलाया। रुपयों की डिमांड की तो 50 हजार दे दिए। इसके बाद 40 हजार रुपये बैंक खाते में ट्रांसफर करा लिए।  
कई बार में एंठे रुपये  
 
28 जनवरी को मंजर के बेटे के वाट्सऐप पर आफर लेटर भेज दिया। फिर बाकी रुपयों का दबाव बनाया। इसके बाद छह फरवरी को 50 हजार रुपये अकाउंट में ट्रांसफर कर दिए। कई बार में उसने दो लाख 41 हजार रुपये ले लिए। मार्च को वीजा इनके बेटे के वाट्सएप पर भेज दिया। शिकायतकर्ता का आरोप है कि उस शख्स ने हवाई जहाज की टिकट नौ अप्रैल तक आने की बात कही।  
रुपये मांगने पर आरोपित ने पीड़ित को दी धमकी  
 
उस शख्स ने कहा कि बेटा नौ अप्रैल को लक्जमबर्ग काम के लिए निकल जाएगा पर ऐसा नहीं हुआ। बाद में शिकायतकर्ता ने वीजा, आफर लेटर अपने लक्जमबर्ग एबेंसी में जांच कराई। एबेंसी ने उन्हें बताया कि सभी नकली हैं। आरोपित से रुपये की मांग करने पर उसने पीड़ित को दो चेक दिए, दोनों ही चेक बाउंस हो गए। पीड़ित परिवार का आरोप है कि रुपये लौटाने पर आरोपित ने पीड़ित को धमकी देते हुए कहा कि वह अब पैसे नहीं लौटाएगा। फिलहाल इस पूरे मामले में पुलिस जांच कर रही है। आरोपित का पता लगा रही है। |