ऑनलाइन हो रही थी पुरी जगन्नाथ महाप्रसाद की बिक्री, पुलिस ने बिल्डर को किया गिरफ्तार

LHC0088 2025-11-10 16:07:57 views 1170
  

पुलिस ने बिल्डर को किया गिरफ्तार



जागरण संवाददाता, भुवनेश्वर। ओडिशा के एक बिल्डर को पुरी जगन्नाथ मंदिर महाप्रसाद की ‘ऑनलाइन बिक्री’ के आरोप में गिरफ्तार किया गया है। जगतसिंहपुर जिले के इस बिल्डर को साइबर पुलिस ने गिरफ्तार किया है क्योंकि उस पर ऑनलाइन प्लेटफ़ॉर्म के माध्यम से जगन्नाथ मंदिर महाप्रसाद बेचने का विज्ञापन देने का आरोप था। आरोपी की पहचान डिस्पोज पटनायक के रूप में हुई है, जिसे भुवनेश्वर के रासुलगड़ से जांच के बाद पकड़ा गया। विज्ञापन हटाएं सिर्फ खबर पढ़ें

पुलिस सूत्रों के अनुसार, पटनायक ने ‘श्रीमहाप्रसाद’ नामक एक वेबसाइट पर विज्ञापन पोस्ट किया था, जिसमें दावा किया गया था कि भक्त सीधे पुरी श्रीमंदिर रोसघर (मंदिर रसोई) से प्राप्त महाप्रसाद खरीद सकते हैं। इस भ्रामक विज्ञापन से भक्तों में  नाराजगी दिखी।  
महाप्रसाद का व्यवसायीकरण

भक्तों ने कहा कि पवित्र महाप्रसाद का व्यवसायीकरण किया जा रहा है जो बिल्कुल ही ठीक नहीं है। शिकायत मिलने पर साइबर पुलिस ने मामला दर्ज किया और जांच शुरू की, जिसके आधार पर आरोपी को गिरफ्तार किया गया।

पुलिस अधिकारियों ने बताया कि यह पता लगाने के लिए आगे की जांच चल रही है कि क्या इस ऑनलाइन बिक्री रैकेट में और लोग भी शामिल थे। ध्यान देने योग्य है कि कई अन्य वेबसाइटें भी अवैध रूप से इस पवित्र प्रसाद की बिक्री कर रही हैं, जिससे नियमन, प्रामाणिकता और श्रीमंदिर प्रशासन की चुप्पी पर गंभीर सवाल खड़े हो रहे हैं।
700 से 1,000 रुपये प्रति पैकेट

सूत्रों से मिली जानकारी के मुताबिक महाप्रभु के महाप्रसाद अन्न (चावल), डाली (दाल) और कणिका (मीठा चावल) आदि 700 से 1,000 रुपये प्रति पैकेट की कीमत पर बेची जा रही हैं। इतना ही नहीं सूखा भोग (सूखा प्रसाद) और ‘खिचुड़ी’ (मसालेदार चावल व्यंजन) भी श्रीमंदिर महाप्रसाद के नाम पर बेचे जा रहे हैं।
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