संघर्ष और धर्म विजय के दृश्यों ने किया भाव विभोर
जागरण संवाददाता, पटना । श्री दशहरा कमेटी की ओर से गांधी मैदान में आयोजित रामलीला मंचन के दौरान वृंदावन से आए कलाकारों ने धार्मिक आस्था और नाट्य शिल्प का शानदार प्रदर्शन किया। मंचन की भावपूर्ण प्रस्तुति से दर्शक भाव विभोर होने के साथ जय श्रीराम के उद्घोष से गूंज उठा। विज्ञापन हटाएं सिर्फ खबर पढ़ें
कलाकारों ने रामलीला मंचन के दौरान छल, संघर्ष और धर्म विजय के दृश्यों ने दर्शकों को आनंदित किया। मंगलवार को सीता हरण, जटायु बलिदान और सुग्रीव संग श्रीराम की मित्रता को कलाकारों ने बखूबी निभाया। भगवान श्रीराम धर्म की रक्षा के लिए राक्षसों का संहार करते हैं।
खर दूषण वध के बाद सूर्पणखा रावण के पास जाकर श्रीराम और लक्ष्मण द्वारा किए गए अपने अपमान की कथा सुनाती हैं। रावण अपने मामा मारीच के साथ मिलकर सीता हरण की योजना बनाता है। मारीच सोने के हिरण का रूप लेकर पंचवटी पहुंचता है और अपनी मायावी कला से सीता को मोहित करता है। सीता के आग्रह पर श्रीराम हिरण का पीछा करते हैं।lucknow-city-state,Lucknow News,Lucknow Latest News,Lucknow News in Hindi,Lucknow Samachar,UPPCL, Power Supply in UP, Dr Ashish Kumar Goyal, UPPCL News, Uttar Pradesh Power Corporation Limited, Upgradation of Systems, Lucknow, UP News, दशहरा पर बिजली कटौती से राहत, ,Uttar Pradesh news
मारीच के छल पूर्वक श्रीराम की आवाज में लक्ष्मण पुकारने लगता है। आवाज सुनकर लक्ष्मण रेखा खींचकर वन की ओर निकल जाते हैं। इसी दौरान रावण साधु वेश में आता है और सीता का हरण कर लेता है। रावण सीता को हरण कर जब लंका ले जाता है इसी क्रम सीता को बचाने के लिए रावण से पक्षीराज जटायु युद्ध करते हैं। इस दौरान वे परलोक सिधारते हैं।
मां सीता की खोज को लेकर प्रभु श्रीराम और भाई लक्ष्मण वन-वन भटकते हुए हनुमान से भेंट कर सुग्रीव से मित्रता करते हैं। कार्यक्रम के दौरान स्थानीय कलाकारों ने भक्ति गीतों पर प्रस्तुति देकर दर्शकों को आनंदित किए।
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