मुकुल रॉय की विधानसभा सदस्यता रद। (फाइल फोटो)
डिजिटल डेस्क, नई दिल्ली। कलकत्ता हाईकोर्ट ने गुरुवार को दलबदल विरोधी कानून के तहत वरिष्ठ नेता मुकुल रॉय की पश्चिम बंगाल विधानसभा सदस्यता रद कर दी।
दरअसल, मुकुल रॉय साल 2021 में विधानसभा चुनाव में बीजेपी की टिकट जीतकर सदन में आए थे। हालांकि, इसी साल अगस्त में सीएम ममता बनर्जी और टीएमसी के राष्ट्रीय महासचिव अभिषेक बनर्जी की मौजूदगी में वह टीएमसी में शामिल हो गए थे। विज्ञापन हटाएं सिर्फ खबर पढ़ें
उच्च न्यायालय ने विधनासभा सदस्यता कर दी रद
बता दें कि न्यायमूर्ति देबांगसु बसाक की अध्यक्षता वाली एक खंडपीठ ने विपक्ष के नेता शुभेंदु अधिकारी और भाजपा विधायक अंबिका रॉय की याचिकाओं पर फैसला सुनाते हुए रॉय को राज्य विधानसभा की सदस्यता से अयोग्य घोषित कर दिया।
अधिकारी ने हाईकोर्ठ में याचिका दायर कर विधानसभा अध्यक्ष बिमान बनर्जी के उस फैसले को चुनौती दी थी, जिसमें रॉय को दलबदल विरोधी कानून के तहत अयोग्य घोषित करने की उनकी याचिका खारिज कर दी गई थी।
उन्होंने आरोप लगाया था कि भाजपा के टिकट पर चुने जाने के बाद वह सत्तारूढ़ तृणमूल कांग्रेस में शामिल हो गए थे। |