cy520520 • 2025-12-3 20:07:59 • views 370
जागरण संवाददाता, कौशांबी। जिले में पहले सीवरेज ट्रीटमेंट प्लांट (एसटीपी) के निर्माण के लिए आखिरकार शासन से हरी झंडी मिल गई है। नगर पालिका परिषद मंझनपुर में प्रस्तावित 10 मिलियन लीटर प्रतिदिन (एमएलडी) शोधन क्षमता के एसटीपी निर्माण के लिए जलनिगम (नगरीय) द्वारा टेंडर भी खोल दिया गया है। इसमें पांच फर्में शामिल हुई हैं। निविदा प्रक्रिया पूरी होने के बाद दो साल में एसटीपी का निर्माण पूरा होने की संभावना जताई जा रही है। विज्ञापन हटाएं सिर्फ खबर पढ़ें
नगर पालिका परिषद मंझनपुर लगभग पांच साल पहले जब बना था, तब इसमें 23 राजस्व गांव शामिल किए गए थे। आबादी और क्षेत्रफल बढ़ने के कारण वार्डों का भी पुनर्गठन किया गया। इससे 12 से बढ़कर 25 वार्ड हो गए। ऐसे में क्षेत्र में एसटीपी निर्माण की आवश्यकता नगर पालिका परिषद प्रशासन को महसूस हुई।
इसके लिए जलनिगम (नगरीय) फतेहपुर द्वारा स्वच्छ भारत मिशन के तहत करीब 25 करोड़ रुपये की प्रस्तावित लागत से 10 एमएलडी क्षमता के एसटीपी निर्माण का प्रस्ताव शासन को ढाई-तीन साल पहले बनाकर भेजा गया था। इसके बाद पालिका प्रशासन द्वारा कादीपुर में चीनी मिल के पीछे एसटीपी निर्माण के लिए भूमि चिन्हित की गई। भूमि के चारों तरफ बाउंड्रीवाल भी बनवा दी गई है। इसकी स्वीकृति हाल में शासन द्वारा प्रदान कर दी गई है।
हरी झंडी मिलने के बाद जलनिगम द्वारा टेंडर भी करा दिया गया। मंगलवार को निविदा खोली गई, जिसमें पांच बिड यानी पांच फर्मों ने सहभागिता की है। इन फर्मों की तकनीकी और फाइनेंशियल बिड फाइनल होने में करीब दो महीने का समय लगने की संभावना जताई गई है।
नालों को टैप कर एसटीपी में जोड़ा जाएगा
जलनिगम के अधिशासी अभियंता महेश गौतम ने बताया कि एसटीपी निर्माण के लिए फर्म का चयन होने के बाद उसे पूरा होने में दो साल का समय लगेगा। एसटीपी से दो बड़े नालों को टैप करके जोड़ा जाएगा।
एक नाला जो डीएम आवास के बगल से गया है और दूसरा मंडी समिति ओसा के सामने से गुजरा है। यह नाला रामवन गमन मार्ग के निर्माण के कारण ओसा चौराहा के समीप बंद कर दिया गया है। इन दो बड़े नालों के माध्यम से मंझनपुर क्षेत्र के ज्यादातर मुहल्लों का पानी निकलता है। इन नालों के पानी का शोधन एसटीपी में करने के बाद समीप से गुजरी ससुर खदेरी नदी में बहाया जाएगा। |
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