LHC0088 • 2025-11-26 04:07:00 • views 779
भारत-अफगानिस्तान के बीच जल्द शुरू होगी कार्गो सर्विस।
जागरण ब्यूरो, नई दिल्ली। भारत और अफगानिस्तान के बीच शीघ्र ही हवाई कार्गो सेवाओं की शुरुआत होने जा रही है। इसके तहत काबुल को दिल्ली और अमृतसर से सीधी कामर्शियल उड़ानों से जोड़ा जाएगा। इसका मकसद भारत और अफगानिस्तान के बीच व्यापार संबंधों को मजबूत करना है। विज्ञापन हटाएं सिर्फ खबर पढ़ें
इस बारे में पिछले दिनों भारत की यात्रा पर आए अफगानिस्तान के वाणिज्य व उद्योग मंत्री एल्हाज नुरुद्दीन अजीजी की विदेश मंत्री एस जयशंकर और वाणिज्य व उद्योग मंत्री पीयूष गोयल के बीच हुई द्विपक्षीय वार्ताओं में सहमति बनी है। दोनों देश अपने-अपने दूतावासों में वाणिज्यिक प्रतिनिधियों की नियुक्ति करेंगे।
विदेश मंत्रालय ने दी ये जानकारी
इस बात की जानकारी विदेश मंत्रालय की तरफ से मंगलवार को दी गई। मंत्रालय की ओर से कहा गया कि अफगानी वाणिज्य मंत्री के इस दौरे में दोनों देशों के बीच कारोबारी व उद्योग संबंधों को मजबूत करने के लिए कई अहम फैसले हुए हैं। इसमें एक संयुक्त उद्योग चैंबर बनाने का भी फैसला अगले कुछ हफ्तों में भारतीय उद्यमियों के एक दल की काबुल यात्रा के दौरान किया जाएगा।
कार्गो उड़ानों की शुरुआत से अभी तक दवाओं, अनाज और कई तरह की दूसरी जरूरतों के लिए आमतौर पर पाकिस्तान पर निर्भर अफगानी नागरिकों तक भारतीय सामान आसानी से पहुंच सकेंगे। अफगानिस्तान पहले ही बहुत ही सस्ती दरों पर अफगानी कारोबारियों के उत्पादों को भारत पहुंचाने की घोषणा कर चुका है।
यानी वहां की सरकार भारत भेजे जाने वाले उत्पादों पर बहुत ही कम शुल्क वसूलेगी। इससे पाकिस्तान को नुकसान होगा। वैसे भी अफगानिस्तान और पाकिस्तान के बीच आपसी संबंध लगातार खराब होते जा रहे हैं। दोनों देशों के बीच युद्ध जैसे हालात हैं और इसके गंभीर हो जाने का खतरा है। ऐसे में भारत अफगानिस्तान के साथ अपने संबंधों को मजबूत बनाने की कोशिश कर रहा है।
अफगानी वाणिज्य मंत्री बोले- भारतीय निवेशकों की हरसंभव मदद करेंगे
अफगानिस्तान के वाणिज्य मंत्री अजीजी ने वाणिज्य मंत्री गोयल को कहा है कि उनका देश भारतीय निवेशकों को हरसंभव मदद करने को तैयार है। अफगानिस्तान में फार्मा, खाद्य प्रसंस्करण जैसे क्षेत्रों में निवेश करने वाली भारतीय कंपनियों को न सिर्फ सुरक्षित माहौल दिया जाएगा बल्कि उन्हें जमीन व अन्य सुविधाएं भी देने की व्यवस्था की जाएगी।
उन्होंने भारत की कपड़ा बनाने वाली कंपनियों को खास तौर पर आमंत्रित किया है और उन्हें वहां उपलब्ध बेहतरीन कच्चा माल (कपास) उपलब्ध कराने की बात कही है। इस बारे में अफगानी मंत्री की कुछ भारतीय कंपनियों से भी अलग से बात हुई है।
अधिकारियों का कहना है कि भारत अफगानिस्तान के साथ कारोबारी संबंधों को व्यापक व दीर्घकालिक नजरिए से देख रहा है। अगर अफगान में शांति स्थापित हो जाती है तो यहां भारतीय कंपनियां उत्पादों का निर्माण कर बहुत आसानी से पूरे मध्य एशिया में सड़क मार्ग से भेज सकती हैं।
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