टोक्यो की दुकानों या रेस्तरां में भी क्यूआर कोड कोड स्कैन करके तुरंत पेमेंट कर सकेंगे।  
 
  
 
नई दिल्ली| भारत की डिजिटल पेमेंट क्रांति अब जापान तक पहुंच गई है। कतर, फ्रांस और सिंगापुर के बाद जापान भी भारत के UPI सिस्टम को अपनाने जा रहा है। इससे भारतीय पर्यटक अब टोक्यो की दुकानों या रेस्तरां में भी क्यूआर कोड कोड स्कैन करके तुरंत पेमेंट कर सकेंगे। यह कदम सिर्फ भारत की तकनीकी ताकत ही नहीं दिखाता, बल्कि यह साबित करता है कि “डिजिटल इंडिया“ अब ग्लोबल ब्रांड बन चुका है। और जिसने दुनिया को कैशलेस ट्रांजेक्शन का सबसे आसान मॉडल भी दिखाया है। विज्ञापन हटाएं सिर्फ खबर पढ़ें  
 
नेशनल पेमेंट्स कॉरपोरेशन ऑफ इंडिया (NPCI) की अंतरराष्ट्रीय शाखा NPCI इंटरनेशनल पेमेंट्स लिमिटेड (NIPL) ने जापान की प्रमुख आईटी और बिजनेस सर्विस कंपनी एनटीटी डेटा जापान (NTT DATA Japan) के साथ समझौता (MoU) किया है। इसका मकसद जापान में UPI पेमेंट सिस्टम को अपनाना और भारतीय पर्यटकों के लिए डिजिटल भुगतान को आसान बनाना है।  
 
एनटीटी डेटा, जापान की सबसे बड़ी कार्ड पेमेंट नेटवर्क कंपनी है, जो CAFIS सिस्टम चलाती है। यह देशभर के बैंकों, कार्ड कंपनियों, एटीएम और हजारों व्यापारियों को जोड़ती है। अब इसके जरिए जापान के तमाम व्यापारी स्थानों पर यूपीआई आधारित पेमेंट की सुविधा उपलब्ध कराई जाएगी।  
 
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जापानी कारोबारियों को मिलेंगे नए ग्राहक  
 
इस साझेदारी के बाद भारतीय यात्री जापान में किसी भी दुकान या रेस्तरां में क्यूओर कोड स्कैन करके सीधे UPI से पेमेंट कर सकेंगे। इससे न सिर्फ भारतीयों के लिए विदेश यात्रा आसान होगी, बल्कि जापानी कारोबारियों को भी नए ग्राहक मिलेंगे।  
 
एनआईपीएल के एमडी और सीईओ रितेश शुक्ला ने कहा कहा कि,   
  
“यह साझेदारी जापान में यूपीआई स्वीकार करने की दिशा में बड़ा कदम है। हमारा लक्ष्य भारतीय यात्रियों के लिए डिजिटल अनुभव को बेहतर बनाना और वैश्विक स्तर पर यूपीआई को भरोसेमंद भुगतान प्रणाली बनाना है।“   
 
वहीं एनटीटी डेटा जापान के पेमेंट प्रमुख मसानोरी कुरिहारा ने कहा,   
  
“हम भारत से आने वाले यात्रियों के लिए भुगतान विकल्पों को बढ़ा रहे हैं। यह सहयोग दोनों देशों के कारोबार और टूरिज्म सेक्टर को नई ताकत देगा।“   
इस साल 2.8 लाख भारतीय गए जापान  
 
जापान पर्यटन विभाग के आंकड़ों के अनुसार, जनवरी से अगस्त 2025 के बीच 2 लाख 8 हजार से ज्यादा भारतीय जापान गए, जो 2024 की तुलना में 36% ज्यादा है। ऐसे में UPI पेमेंट शुरू होने से यह संख्या और तेजी से बढ़ने की उम्मीद है। यह समझौता भारत के उस विजन को और मजबूत करता है, जिसमें दुनिया को सुरक्षित, तेज और सस्ती डिजिटल पेमेंट व्यवस्था से जोड़ने की बात कही गई है।  
दुनिया के 10 देशों में काम कर रहा यूपीआई  
 
भारत का UPI अब 10 देशों में काम कर रहा है। इनमें संयुक्त अरब अमीरात (UAE), कतर, फ्रांस, सिंगापुर, भूटान, नेपाल, श्रीलंका, मॉरीशस, टोबैगो और त्रिदिनानद शामिल हैं। इस लिस्ट में अब जापान भी शामिल हो गया है। |