LHC0088 • 2025-12-9 19:08:45 • views 939
संवाद सूत्र, जागरण भिनगा(श्रावस्ती)। परिषदीय विद्यालयों में अध्ययनरत नौनिहालों को ठंड से बचाने व रोग प्रतिरोधक क्षमता बढ़ाने के लिए मध्याह्न भोजन में अतिरिक्त पोषकतत्व की व्यवस्था की गई है।
प्रत्येक गुरुवार को छात्र-छात्राओं को मध्याह्न भोजन में चिक्की, गजक व बाजरे का लड्डू मिलेगा। इसकी निगरानी जिला व ब्लॉक स्तरीय टास्क फोर्स के माध्यम से की जाएगी। इस संबंध में मध्याह्न भोजन प्राधिकरण की निदेशक मोनिका रानी ने डीएम अश्वनी कुमार पांडेय को पत्र भेजा है। विज्ञापन हटाएं सिर्फ खबर पढ़ें
परिषदीय स्कूलों में पढ़ने वाले छात्र-छात्राओं को अतिरिक्त पोषक तत्व मुहैया कराने के लिए दिसंबर से मार्च 2026 तक गुड़ व मूंगफली की चिक्की या गुड़, तिल व मूंगफली का गजक अथवा बाजरे का लड्डू या भुना चना दिया जाएगा।
मध्याह्न भोजन योजना के तहत नौनिहालों को यह खाद्य सामग्री दी जाएगी। स्कूलों में नई व्यवस्था के तहत हर गुरुवार को अतिरिक्त सामग्री वितरित की जाएगी, जिससे छात्र-छात्राओं के शरीर को आवश्यक पोषक तत्व मिल सके।
उन्हें नियमित भोजन के अलावा यह अतिरिक्त आहार मिलेगा। प्रत्येक छात्र को चिक्की, गजक व बाजरे का लड्डू न्यूनतम 20 ग्राम तथा भुना चना प्रत्येक छात्र को न्यूनतम 50 ग्राम की मात्रा में वितरित किया जाएगा।
गुरुवार को विद्यालय में अवकाश होने की स्थिति में अगले दिन स्कूल खुलने पर नौनिहालों को यह अतिरिक्त सामग्री वितरित की जाएगी। मध्याह्न भोजन प्राधिकरण के निदेशक ने आदेश का कड़ाई से पालन कराने के निर्देश भी दिए हैं।
गजक व गुड़ की चिक्की खाने के फायदे
नौनिहालों को गजक खाने से शरीर को गर्मी, ऊर्जा व पोषण मिल सकेगा, जो सर्दियों के लिए बहुत ही फायदेमंद होता है। इसके सेवन से बच्चों में रोग प्रतिरोधक क्षमता (इम्युनिटी) भी बढ़ेगी। साथ ही यह नौनिहालों की हड्डी को भी मजबूत करेगा।
गुड़ की चिक्की खाने से नौनिहालों के शरीर को तुरंत ऊर्जा मिलेगी। ठंड से बचाने में सहायक हाेगा। चिक्की आयरन, जिंक, मिटामिन और मिनरल से भी भरपूर होती है।
ताकत का स्रोत है बाजरे का लड्डू
बाजरे का लड्डू खाने से बच्चों का पाचन सुधरेगा। साथ ही हड्डियां भी मजबूत होंगी। कोलेस्ट्राल व ब्लडप्रेशर भी नियंत्रित रहेगा। बाजरे का लड्डू ताकत का बेहतरीन स्रोत होता है। |
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