पुलिस ने अब तक 13 को गिरफ्तार कर भेज चुकी है जेल। जागरण (सांकेतिक तस्वीर)
संवाद सूत्र, गोला। इंडसइंड बैंक में समूह लोन के तहत फर्जी मृत्यु प्रमाण पत्र लगाकर बीमा राशि हड़पने के चर्चित मामले में पुलिस ने एक और वांछित को गिरफ्तार कर लिया है। मंगलवार को गिरफ्तार की गई आरोपित महिला की पहचान रोजी, निवासी भटौली बाजार थाना बांसगांव, हाल मुकाम कस्बा गोला बड़ी मस्जिद के रूप में हुई है। विज्ञापन हटाएं सिर्फ खबर पढ़ें
आरोपित के विरुद्ध गैर जमानती वारंट (एनबीडब्ल्यू) जारी था और पुलिस उसकी तलाश में लगातार दबिश दे रही थी। पूछताछ के बाद पुलिस ने आरोपित को न्यायालय में पेश किया, जहां से जेल भेज दिया गया। इस मामले में पुलिस ने अब तक 13 आरोपित को गिरफ्तार कर जेल भेज चुकी है। वहीं मुख्य आरोपित प्रबंधक ने स्थगन आदेश ले लिया है।
इंडसइंड बैंक की गोला शाखा में फर्जीवाड़े का मामला वर्ष 2023 का है। तत्कालीन शाखा प्रबंधक दिनेश कुमार ने पूर्व शाखा प्रबंधक बृजेश कुमार सरोज समेत अन्य के खिलाफ मुकदमा दर्ज कराया था। आरोप लगाया था कि समूह लोन लेने वाली महिलाओं के पतियों के फर्जी मृत्यु प्रमाण पत्र लगाकर बीमा कंपनियों से बीमा राशि हड़प ली गई।
प्रारंभिक जांच के दौरान तत्कालीन विवेचक अजय कुमार ने बैंक प्रबंधक बृजेश कुमार का नाम मुकदमे से हटा दिया और महिलाओं को ही आरोपित बनाया। बाद में विवेचना आगे बढ़ने पर नए विवेचक ने चार महिलाओं मोती, आयशा, साधना मौर्या और राजकुमारी देवी को गिरफ्तार कर जेल भेज दिया।
चारों महिलाओं की गिरफ्तारी के बाद मामला तुल पकड़ा और तत्कालीन एसएसपी एक बार फिर विवेचक को बदलकर थाना प्रभारी गोला को जांच सौंपी गई। साथ ही सीओ को प्रतिदिन और एसपी दक्षिणी को सप्ताह में एक दिन पूरे मामले की जांच का निर्देश दिया।
इसके बाद थाना प्रभारी ने मामले की जांच तेज करते हुए पांच अप्रैल को अभय तिवारी, आशुतोष दूबे, संजय गिरि, जय कुमार और वारिश अंसारी को गिरफ्तार कर जेल भेजा था। फिर 26 जून को एक और आरोपित अरुण की गिरफ्तारी हुई थी। इनके अलावा मुकदमें आरोपित बनाई गई मालती देवी, रेखा, गौतम कुमार श्रीवास्तव, गोपाल सिंह, अरुण कुमार, शाखा प्रबंधक बृजेश कुमार सरोज, संगम गौड़, कृष्ण कुमार शर्मा और शबनम खातून समेत अन्य अज्ञात को फरार घोषित करते हुए एनबीडब्ल्यू जारी किया गया।
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जिसके बाद पुलिस ने मालती देवी समेत दो को गिरफ्तार कर जेल भेजा। अन्य की तलाश के लिए दबिश दे रही थी। थाना प्रभारी राहुल शुक्ल ने बताया कि एक आरोपित महिला रोजी को गिरफ्तार कर जेल भेजा गया है। अन्य एक आरोपित पुलिस की पकड़ से बाहर है, जिसकी गिरफ्तारी के प्रयास किए जा रहे हैं। मुख्य आरोपित बैंक प्रबंधक ने हाईकोर्ट से स्थगन आदेश ले रखा है।
पुलिस पर लगे थे आरोप, विवेचक हुए थे लाइन हाजिर
समूह लोन के फर्जीवाड़े में जांच के दौरान दो विवेचको पर मुख्य आरोपित को बचाने के आरोप लगाए गए थे। जिसके बाद विवेचकों को बदल दिया गया था। बाद में जब महिलाओं को गिरफ्तार कर जेल भेजा गया तो उनके पतियों ने पुलिस पर लिपापोती का आरोप लगाया और बैंक प्रबंधक और कर्मियों को मुकदमें शामिल नहीं करने की बात कही। जिस पर तत्कालीन एसएसपी ने पूरे मामले की जांच पुन: थाना प्रभारी से करायी। लापरवाही बरतने वाले एक विवेचक पर कार्रवाई करते हुए लाइन हाजिर किया और विभागीय फाइल खोलने का निर्देश दिया था। |