जागरण संवाददाता, इटावा। 123 किमी लंबे इटावा-आगरा नेशनल हाईवे पर पड़ने वाले आठ ब्लैक स्पाटों को नेशनल हाईवे अथारिटी आफ इंडिया लिमिटेड द्वारा दूर किया जाएगा। इनको चिन्हित कर लिया गया है। यहां पर अंडरपास बनाए जाएंगे जो 2026 में बनकर तैयार हो जाएंगे। इन पर करीब 200 करोड़ रुपये की लागत आएगी। विज्ञापन हटाएं सिर्फ खबर पढ़ें
इस योजना से नेशनल हाईवे के आसपास के 80 से अधिक गांवों के लोगों को सुविधा मिलेगी। यह नेशनल राजमार्ग सिक्सलेन है। इस हाईवे पर अंडरपास न होने की वजह से आसपास के गांव के लोग सीधे हाईवे पार करते थे जिसकी वजह से दुर्घटनाएं हो रही थीं। इसको लेकर आठ ब्लैक स्पाट इटावा से आगरा तक चयनित किए गए हैं इनमें मोहम्मदाबाद, मीठेपुर, बेनीबाल, इंदुमई, नौशेहारा, उखरेंड, मलाजनी व अरोंज हैं।
आगरा-इटावा राष्ट्रीय राजमार्ग-19 सिक्सलेन है। 123 किलोमीटर की दूरी वाले इस हाईवे में अंडरपास न होने की वजह से गांवों के लोगों को चक्कर लगाना पड़ रहा है। हाईवे पार करने के चक्कर में कई बार हादसे भी हो चुके हैं। एनएचएआई ने आगरा-इटावा हाईवे का सर्वे करते हुए आठ ब्लैक स्पार्ट चिन्हित किए थे जिन पर साल में तीन या इससे अधिक हादसे हुए थे। इन स्थानों पर अंडरपास बनाए जाने की जरूरत को देखते हुए परिवहन मंत्रालय को प्रस्ताव भेजा गया था।
इन सभी ब्लैक स्पाट पर अंडरपास बनाए जाने की मंजूरी मिल गई है। इस पर लागत करीब 200 करोड़ रुपये की आएगी। निर्माण के लिए टेंडर भी कर दिया गया है और कार्यदाई संस्था ने काम भी शुरू कर दिया है। इससे हादसों पर लगाम लगेगी और इसके दोनों ओर के करीब 80 गांवों से अधिक लोगों को आवागमन में सुविधा होगी।
एनएचएआई के प्रोजेक्ट डायरेक्टर आगरा संदीप यादव ने बताया कि 200 करोड़ रुपये की लागत से आठ अंडरपास बनाए जाएंगे। पांच अंडरपास का ठेका एक कंपनी को दिया गया है व दो अंडरपास का ठेका दूसरी कंपनी व एक अंडरपास का ठेका तीसरी कंपनी को दिया गया है। जून 2026 तक इसका निर्माण कार्य पूरा करने का लक्ष्य रखा गया है। कहीं कहीं पर काम भी शुरू हो गया है, जहां पर नहीं शुरू हुआ है वहां जल्द शुरू हो जाएगा। एक साल में पूरा करने का लक्ष्य है।
इन क्षेत्रों में बनेंगे अंडरपास
मोहम्मदबाद, मीठेपुर, बेनीवालकट, टूंडला, इंदुमई, नौशेहारा, उखरेंड, मलाजनी, अरोंज। |