जागरण संवाददाता, गाजियाबाद। चुनाव आयोग के निर्देश पर मतदाता सूची के विशेष प्रगाढ़ पुनरीक्षण (एसआईआर) का कार्य किया जा रहा है, जिससे कि शुद्ध मतदाता सूची तैयार हो सके। पहले इस अभियान के पहले चरण की अंतिम तारीख चार दिसंबर निर्धारित की गई थी, जिसे बाद में 11 दिसंबर तक बढ़ा दिया गया था। विज्ञापन हटाएं सिर्फ खबर पढ़ें
जिले में वितरित किए गए गणना प्रपत्र के सापेक्ष बुधवार तक कुल 58.87 प्रतिशत मतदाताओं के फार्म का डिजिटाइजेशन किया जा सका है। अब भी 40 प्रतिशत से अधिक मतदाता ऐसे हैं, जिनके फार्म का डिजिटाइजेशन का कार्य नहीं हो सका है। इन मतदाताओं के नाम अब नई मतदाता सूची से काटने की तैयारी है। इनमें मृतक, अनुपस्थित, शिफ्टेड मतदाता, डुप्लीकेट वोटर, अन्य श्रेणी के मतदाता शामिल हैं
जिले की पांचों विधानसभा क्षेत्र में कुल 28,37,991 मतदाताओं का नाम एसआईआर कार्यक्रम से पहले मतदाता सूची में दर्ज हैं। बुधवार तक लोनी विधानसभा क्षेत्र में 63.86 प्रतिशत, मुरादनगर विधानसभा क्षेत्र में 66.33 प्रतिशत, गाजियाबाद शहर विधानसभा क्षेत्र में 64.25 प्रतिशत, साहिबाबाद विधानसभा क्षेत्र में 45.17 प्रतिशत और मोदीनगर विधानसभा क्षेत्र में सर्वाधिक 75.82 प्रतिशत मतदाताओं के फार्म डिजिटाइज हो चुके हैं।
एसआईआर कार्यक्रम के तहत बुधवार तक जिले की पांचों विधानसभा क्षेत्र में कुल 62,607 मतदाता मृतक मिले हैं। 4,81,135 मतदाता अपने पते पर अब नहीं रहते हैं, उनको ट्रेस करना भी मुश्किल हो रहा है। 4,04,277 मतदाता ऐसे हैं, जो कि अब स्थायी रूप से दूसरी जगह शिफ्ट हो चुके हैं। जिले के 27,817 मतदाताओं का नाम पहले से ही दूसरी जगह मतदाता सूची में दर्ज मिला है। 54,076 मतदाता अन्य श्रेणी के हैं, जिन्होंने अब तक गणना प्रपत्र जमा नहीं किया है।
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गाजियाबाद में इस वजह से नहीं हो हो सके 40 प्रतिशत से अधिक मतदाताओं के फार्म डिजिटाइज
गाजियाबाद में लोनी विधानसभा में 99.98 प्रतिशत गणना प्रपत्र वितरित किए गए, इनमें से 32.68 प्रतिशत मतदाताओं के गणना प्रपत्र वापस बीएलओ को नहीं मिले। इसी तरह मुरादनगर विधानसभा क्षेत्र में 4,59,669 गणना प्रपत्र में से 1,50,400 के फार्म, साहिबाबाद विधानसभा क्षेत्र में 10,38,795 में से 4,58,608, गाजियाबाद शहर विधानसभा क्षेत्र में 4,68,302 में से 1,67,432 और मोदीनगर विधानसभा क्षेत्र में 3,34,761 में से 79,369 मतदाताओं
के गणना प्रपत्र वापस बीएलओ के पास नहीं पहुंचे, इस वजह से मतदाताओं के फार्म का डिजिटाइजेशन का कार्य नहीं किया जा सका है। जिन मतदाताओं के फार्म नहीं मिले हैं, उनमें मृतक , अनुपस्थित,
शिफ्टेड मतदाता , डुप्लीकेट वोटर , अन्य श्रेणी के मतदाता शामिल हैं।
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पहला कारण : पहले से तैयार मतदाता सूची में 62,607 मतदाता मृतक मिले हैं, जिससे पता चलता है कि मतदाता सूची से मृतकों के नाम हटाने के लिए पहले फार्म उनके स्वजन ने जमा नहीं किए।
दूसरा कारण : पहले से तैयार मतदाता सूची में 4,81,135 मतदाता अपने पते पर रहते नहीं मिले हैं, वह अब कहां रह रहे हैं, इसकी जानकारी भी नहीं मिल सकी है।
तीसरा कारण : पहले से तैयार मतदाता सूची में 4,04,277 मतदाता अब दूसरी जगह शिफ्ट हो चुके हैं, लेकिन उन्होंने शिफ्ट होने के बाद पता बदलने की जानकारी बीएलओ को नहीं दी, न ही मतदाता सूची में अपना पता बदलवाने के लिए फार्म जमा कराया।
चौथा कारण : जिले में पहले से तैयार मतदाता सूची में 27,817 मतदाता ऐसे मिले हैं, जो कि पहले से किसी अन्य जगह की मतदाता सूची में भी वोटर थे।
पांचवां कारण : जिले में पहले से तैयार मतदाता सूची में 54,076 मतदाता ऐसे हैं, जिन्होंने अपना गणना प्रपत्र भरकर जमा नहीं किया। इसकी स्पष्ट वजह भी उन्होंने नहीं बताई है।
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गौतमबुद्धनगर में 90 प्रतिशत पूरा हुआ एसआइआर का काम
ग्रेटर नोएडा : निर्वाचन
नामावली के विशेष प्रगाढ़ पुनरीक्षण (एसआइआर) का काम लक्ष्य के करीब पहुंच
चुका है। 90 प्रतिशत कार्य पूरा हो चुका है। शत प्रतिशत लक्ष्य पूरा करने
को बूथ लेवल अधिकारी (बीएलओ) जोर-शोर से जुटे हैं। आज एसआइआर का आवेदन
करने का अंतिम दिन हैं। ऐसे में लोग भी बीएलओ को तलाशते दिखे। लोगों ने
आनलाइन भी अपना आवेदन किया है। सेक्टर व सोसायटियों में आरडब्ल्यूए व एओए
के पदाधिकारी भी बीएलओ की मदद कर रहे हैं। जिले में 74 प्रतिशत कार्य लगभग
पूरा हो चुका है। जबकि 21.4 प्रतिशत नो मेपिंग का शेष बचा हुआ है। शत
प्रतिशत एसआइआर का कार्य पूरा हो युद्ध स्तर पर अभियान चलाया जाएगा।
बयान
अगर आयोग द्वारा तिथि नहीं बढ़ाई गई तो 11 दिसंबर के मिलने वाले गणना प्रपत्र डिजिटाइज नहीं किए जाएंगे। जितने मतदाताओं के गणना प्रपत्र मिले हैं, उनके फार्म का डिजिटाइजेशन बृहस्पतिवार तक शत प्रतिशत कर दिया जाएगा। शेष के नाम मतदाता सूची से हटाए जाएंगे, इसके बाद यदि किसी व्यक्ति को अपना नाम मतदाता सूची में शामिल कराना है तो उसे फार्म संख्या छह और घोषणा पत्र भरकर जमा करना होगा, बीएलओ द्वारा सत्यापन किए जाने के बाद ही मतदाता सूची में नाम शामिल होगा।
- सौरभ भट्ट, उप जिला निर्वाचन अधिकारी।
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अभिषेक सिंह |