अनुसूचित जाति के बेरोजगार को बकरी पालन के लिए मिलेगा 54 हजार रुपये ऋण।
जागरण संवाददाता, सोनभद्र। अनुसूचित जाति के गरीब बेरोजगारों को रोजगार से जोड़ने के लिए बकरी पालन हेतु चयनित किया जाएगा। एक बकरा और पांच बकरियों के पालन के लिए सरकार की ओर से उसे 54 हजार रुपये ऋण दिया जाएगा। जबकि संबंधित चयनित व्यक्ति को छह हजार रुपये लगाना होगा। इसको लेकर आवेदन शुरू हो गया है। विज्ञापन हटाएं सिर्फ खबर पढ़ें
ग्राम पंचायत स्तर पर गरीब व्यक्ति इसके लिए आवेदन कर सकता है। जनपद के अनुसूचित जाति के बेरोजगारों को बकरी पालन के लिए राज्य सरकार प्रोत्साहन दे रही है। उसके तहत एक बकरा और पांच बकरी पालन के लिए 60 हजार रुपये की परियोजना स्थापित की जाएगी।
इसमें राज्यांश 90 प्रतिशत मतलब 54 हजार रुपये होगा जबकि लाभार्थी को 10 प्रतिशत यानी छह हजार रुपये लगाना पड़ेगा। बकरे का मूल्य 10 हजार रुपये और प्रति बकरी का मूल्य नौ हजार रुपये निर्धारित किया गया है।
जनपद के अनुसूचित जाति के भूमिहीन वह गरीब पशुपालकों की आय में वृद्धि एवं बकरी पालन के कार्य के लिए प्रोत्साहित कर कुपोषण से बचाने के लिए यह योजना शुरू की गई है।
बकरी का मांस व दूध उत्पादन से पशु पालकों की बढ़ेगी आय
योजना के क्रियान्वयन से बकरी मांस व दूध का उत्पादन बढ़ने से पशु पालक के आय में वृद्धि होगी। गरीब परिवारों को रोजगार उपलब्ध होगा और उनके सामाजिक व आर्थिक स्तर में सुधार होगा। इसको लेकर आवेदन के प्रक्रिया शुरू कर दी गई है।
लाभार्थियों के चयन के लिए प्रशासन ने कमेटी गठित की है। इसमें उप मुख्य पशु चिकित्सा अधिकारी अध्यक्ष, संबंधित गांव के पशु चिकित्सा अधिकारी सदस्य सचिव व ग्राम प्रधान सदस्य होगा।
बकरी पालन योजना के तहत ऑनलाइन आवेदन की प्रक्रिया शुरू हो गई है। अनुसूचित जाति वर्ग के बेरोजगारों को 60 हजार रुपये से बकरी पालन कराकर उनकी आय में वृद्धि के साथ उनके सामाजिक और आर्थिक स्तर में सुधार का प्रयास हो रहा। -डॉ. जितेंद्र कुमार, पशु चिकित्साधिकारी, नोडल अधिकारी, बकरी पालन योजना। |