अधर में फोरलेन बाईपास निर्माण (प्रतीकात्मक तस्वीर)
मनीष कुमार, औरंगाबाद। औरंगाबाद शहर के लिए प्रस्तावित फोरलेन बाईपास का निर्माण फिलहाल अधर में लटका है। एनएच-139 के खैरी से मंजूराही, रायपुरा होते हुए पवई गांव के पहाड़ी क्षेत्र के एनएच-139 तक करीब 10 किलोमीटर लंबा बाईपास बनाया जाना था। विज्ञापन हटाएं सिर्फ खबर पढ़ें
इसके लिए राष्ट्रीय राजमार्ग विभाग (एनएच) ने लगभग 835 करोड़ रुपये की डीपीआर तैयार कर एनएचएआई नई दिल्ली को भेजी थी। इसमें करीब 490 करोड़ रुपये जमीन अधिग्रहण पर और 345 करोड़ रुपये सड़क निर्माण पर खर्च का अनुमान लगाया गया था।
जमीन अधिग्रहण की अत्यधिक लागत को देखते हुए एनएचएआई ने इस बाईपास निर्माण पर फिलहाल रोक लगा दिया है। अधिकारियों के अनुसार, अधिग्रहण पर निर्माण लागत से अधिक राशि खर्च होने के कारण एनएचएआई ने पूर्व डीपीआर को रद कर दिया है।
साथ ही एनएच के अधिकारियों से नया, कम जमीन में लागत वाला एलाइनमेंट तैयार करने को कहा है। इसके तहत एनएच विभाग ने दूसरा एलाइनमेंट के लिए जमीन सर्वे की प्रक्रिया शुरू कर दी है। सर्वे में ग्रामीण क्षेत्र की जमीनों को प्राथमिकता दी जा रही है, ताकि अधिग्रहण की प्रति डिसमिल दर कम हो सके।
सर्वे कार्य कंटलेंसी एजेंसी के जिम्मे है, जो संभावित जमीन की प्रकृति, दर और क्षेत्रीय प्रभाव का आकलन कर रही है। संभावना जताई जा रही है कि नया एलाइनमेंट पहले से लंबा हो सकता है, ताकि घनी आबादी और महंगी भूमि से बचते हुए सड़क निर्माण संभव हो सके।
एनएच के कार्यपालक अभियंता तुलसी प्रसाद ने बताया कि पूर्व एलाइनमेंट में सड़क निर्माण से जमीन अधिग्रहण की राशि अधिक होने के कारण बाईपास के निर्माण में बाधा बनी और एनएचएआई ने दूसरा एलाइमेंट बनाने का प्रस्ताव दिया है।
एनएचएआई के प्रस्ताव पर दूसरे एलाइनमेंट के लिए जमीन का सर्वे कार्य शुरू कर दी गई है। बताया कि दाउदनगर और अरवल फोरलेन बाईपास के लिए निविदा प्रक्रिया आगे बढ़ाई जा रही है। नए एलाइनमेंट के अंतिम चयन के बाद ही औरंगाबाद बाईपास पर आगे का निर्णय लिया जाएगा। |