Paush Month 2025:पौष माह के नियम।
धर्म डेस्क, नई दिल्ली। पौष महीना (Pausa Month) हिंदू पंचांग के अनुसार दसवां महीना होता है। यह महीना धार्मिक और आध्यात्मिक दृष्टि से बहुत महत्वपूर्ण माना जाता है, क्योंकि यह सूर्य देव की पूजा के लिए समर्पित है। इस साल पौष माह का आरंभ दिन शुक्रवार, 5 दिसंबर 2025 से होगा। यह माह बहुत शुभ फल देने वाला है, लेकिन कुछ ऐसे नियम और वर्जित काम हैं जिन्हें इस महीने के दौरान नहीं करना चाहिए। आइए उन नियमों को जानते हैं। विज्ञापन हटाएं सिर्फ खबर पढ़ें
कब शुरू होगा पौष महीना? (Paush Month 2025 Start And End Date)
हिंदू पंचांग के अनुसार, पौष माह की शुरुआत 5 दिसंबर 2025 से होगी। वहीं, इसका समापन 3 जनवरी 2026 को पौष पूर्णिमा के दिन होगा।
पौष महीने में इन बातों का रखें ध्यान (Paush Month 2025 Rules)
- पौष महीने में सूर्य धनु राशि में प्रवेश करते हैं, जिसे धनु संक्रांति कहा जाता है। इस अवधि को खरमास भी कहते हैं।
- ऐसे में इस पूरे महीने में विवाह, मुंडन, गृह प्रवेश, और नए व्यवसाय की शुरुआत जैसे सभी मांगलिक काम वर्जित माने जाते हैं।
- मान्यता है कि खरमास में किए गए शुभ कार्यों का फल अच्छा नहीं मिलता है।
- इस महीने में प्रतिदिन शरीर की तेल मालिश करने से बचना चाहिए।
- इस माह तिल का दान करना भी बहुत शुभ माना जाता है।
- इस दौरान नए अनाज का सेवन बिना देवताओं को भोग लगाए नहीं करना चाहिए।
- इस माह अन्न का दान करना बहुत पुण्यदायी माना जाता है।
- पौष महीने में ठंडी चीजों का सेवन करने से बचना चाहिए।
- इस माह गुड़, अदरक, लहसुन और तिल का सेवन करना लाभकारी होता है।
- इस माह प्रतिदिन सूर्य देव को अर्घ्य देना चाहिए और पितरों का तर्पण करना चाहिए।
- इस दौरान सूर्य को जल चढ़ाना चाहिए और सूर्य देव के वैदिक मंत्रों का जप करना चाहिए।
पूजा मंत्र
- ॐ ह्रीं ह्रीं सूर्याय नमः।।
- ॐ घृणिः सूर्य आदित्यः क्लीं ॐ।।
- ॐ ह्रीं ह्रीं सूर्याय सहस्रकिरणराय मनोवांछित फलम् देहि देहि स्वाहा।।
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