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बिना लाइसेंस चल रहा Petrol Pump सील: 1800 लीटर पेट्रोल-डीजल बरामद, मिलावटी ईंधन बेचने की शिकायत पर कार्रवाई

LHC0088 2025-11-19 12:36:43 views 961

  

बिना लाइसेंस चल रहा पेट्रोल पंप सील।



जागरण संवाददाता, अलीगढ़। जिले में अवैध पेट्रोल-डीजल के कारोबार पर पूर्ति विभाग ने बड़ी कार्रवाई करते हुए दादों-जिरौली मार्ग स्थित गांव कसेर में एक फर्जी पेट्रोल पंप को सील कर दिया। विभागीय टीम ने मौके से कुल 1800 लीटर तरल पदार्थ बरामद किया। इसमें 900 लीटर पेट्रोल व 800 लीटर डीजल शामिल है। विज्ञापन हटाएं सिर्फ खबर पढ़ें

पंप बिना किसी लाइसेंस व एनओसी के बायोडीजल के नाम पर संचालित की जा रही थी। प्रशासन की आंख के नीचे खुलेआम मिलावटी डीजल पेट्रोल बिक रहा था। अब जांच टीम ने छह लोगों पर मुकदमा दर्ज कराया है।  

  
बिना लाइसेंस बॉयोडीजल के नाम पर खुलेआम हो रही थी बिक्री

  

पेट्रोल पंप एसोसिएशन की शिकायत के बाद डीएसओ सत्यवीर सिंह के निर्देश पर पूर्ति विभाग की टीम सोमवार को ढाई बजे मौके पर पहुंची। टीम ने देखा कि पंप पर दो डिस्पेंसिंग यूनिट लगाकर एक से डीजल व दूसरी से पेट्रोल की बिक्री हो रही थी। टीम के आने पर एक व्यक्ति पेट्रोल निकालते हुए पाया गया। पूछताछ में उसने अपना नाम सनोज कुमार (नगला दल, थाना दादों) बताया। लिखित बयान में उसने स्वीकार किया कि वह पिछले लगभग दो माह से यहां सैलरी बेस सेल्समैन के रूप में कार्यरत है। उसने पंप का मालिक संजय यादव (सिलारी, बुलंदशहर) बताया।

  
बुलंदशहर निवासी मालिक समेत छह लोगों के खिलाफ मुकदमा दर्ज

  


छापे के दौरान पंप पर एक-एक डिस्पेंसिंग मशीन मिलीं। बाजार भाव के अनुसार यहां पेट्रोल 95 रुपये व डीजल 88 प्रति लीटर के हिसाब से बेचा जा रहा था। बिक्री का नकद भुगतान सनोज द्वारा लिया जाता था जबकि आनलाइन भुगतान योगेंद्र कुमार के नाम से उपलब्ध भीम यूपीआई स्कैनर के जरिए दर्ज किया जाता था।

सनोज के पास पंप से संबंधित कोई कागजात मौजूद नहीं थे। वह बताता है कि संजय यादव को कई बार बुलाया गया पर वह मौके पर नहीं आया। जांच में यह भी पता चला कि पंप पर ईंधन की आपूर्ति पिंटू शर्मा निवासी अलीगढ़ व सत्यवीर सिंह बीपीसी प्राइवेट लिमिटेड, नगला अलगरजी, हाथरस सहित अन्य स्रोतों से की जा रही थी। पंप पर एक और सेल्समैन रमेश निवासी भुडिया कसेर कार्यरत मिला।

  

  
पूर्ति विभाग ने पंप पर ठोकी सील, तीन घंटे तक चली कार्रवाई

  

सनोज ने बताया कि सभी नकद वसूलियों का समापन रमेश के माध्यम से होता था। टीम ने पेट्रोल व डीजल के तीन-तीन नमूने लिए। दोनों डिस्पेंसिंग यूनिट की नोजलें सील कर यूपीआई स्कैनर भी जब्त कर लिया। मौके पर पेट्रोल टैंक में लगभग 900 लीटर व डीजल टैंक में लगभग 800 लीटर सामग्री मिली। विभागीय अधिकारियों ने बताया कि पेट्रोल अति-ज्वलनशील पदार्थ है। इसके भंडारण व बिक्री के लिए विस्फोटक संबंधित लाइसेंस आवश्यक होता है, जो इस पंप के पास मौजूद नहीं था। पंप संचालक द्वारा मिलावट डीजल-पेट्रोल की बिक्री की जा रही थी।  

मिलावटी डीजल-पेट्रोल से खराब हो रहे वाहन


स्थानीय ग्रामीणों ने जांच टीम को बताया की कि यह पंप पिछले कई महीने से संचालित है। यहां से खरीदे गए ईंधन के कारण ट्रैक्टर व बाईक-मोटर साइकिल सहित कई वाहन खराब हो गए। ऐसे में मिलावटी ईंधन के मिलने व सुरक्षा के लिहाज़ से कार्रवाई को गंभीर बताया जा रहा है। पूर्व में भी इस पर जांच को टीम पहुंची थी। इसके बाद इसे बंद कर दिया गया था, लेकिन अब कुछ दिनों से दोबारा संचालन शुरू हो गया था।


तीन घंटे तक हुई कार्रवाई



टीम में क्षेत्रीय खाद्य अधिकारी वेद प्रकाश, पूर्ति निरीक्षक प्रमोद कुमार, दिनेश कुमार, पीयूष कुमार गौतम, सजनलाल गुप्ता, रामदेव सिंह यादव, कृष्णवीर सिंह, दिनेश कुमार पटेल व विपुल प्रताप सिंह मौजूद रहे। इन्होंने लगभग तीन घंटे तक निरीक्षण कर कार्यवाई की। आधिकारिक तौर पर पंप संचालक व अन्य के विरुद्ध आवश्यक दावों के आधार पर मुकदमा दर्ज कराया गया है। नमूनों का लैब परीक्षण करा जा रहा है।



यह हैं मुकदमे में नामजद




1-संजय यादव-संचालक (सिलारी, बुलंदशहर)
2. सनोज कुमार-सेल्समैन (नगला दल, थाना दादों)
3. रमेश- सेल्समैन (भुडिया कसेर)
4. योगेंद्र कुमार- यूपीआई क्यूआर कोड धारक
5. पिंटू शर्मा- आपूर्तिकर्ता (अलीगढ़)
6. सत्यवीर सिंह-आपूर्तिकर्ता (एसएस बीपीसी प्राइवेट लिमिटेड, हाथरस)

  

  
कठघरे में प्रशासन, क्यों नहीं पड़ा ध्यान

  

हालांकि पंप सील कर दिया गया है, पर स्थानीय लोगों व ग्रामीणों का सवाल बना हुआ है कि जिला मुख्यालय से 70 किलोमीटर दूर, मुख्य मार्ग पर यह पंप इतने लंबे समय तक बिना लाइसेंस कैसे चलता रहा। ग्रामीणों का आरोप है कि रोजाना दर्जनों वाहन यहां तेल भरवाते थे, फिर भी विभागीय निगरानी कैसे अदृश्य रही? शिकायत के बाद ही कार्रवाई क्यों हुई। यह तथ्य विभागीय शिथिलता पर प्रश्नचिन्ह उठाता है।
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