deltin51
Start Free Roulette 200Rs पहली जमा राशि आपको 477 रुपये देगी मुफ़्त बोनस प्राप्त करें,क्लिकtelegram:@deltin55com

म्यांमार में बंधक बनाकर कराई साइबर ठगी, भागकर थाइलैंड पहुंचने पर भारतीय दूतावास की मदद से लौटे भारत

Chikheang 2025-11-18 20:38:19 views 899

  

विदेश में नौकरी के चक्कर में दो युवक साइबर ठगों के जाल में फंस गए।



जागरण संवाददाता, पलवल। जिले के दो युवकों को विदेश में नौकरी दिलाने का झांसा देकर म्यांमार में चीन की साइबर फ्राॅड कंपनी में बंधक बनाकर जबरन ठगी करवाने का मामले सामने आया है। करीब तीन माह तक बंधक रहने के बाद दोनों युवक किसी तरह म्यांमार से थाइलैंड पहुंचे, जहां उन्हें भारतीय दूतावास की मदद से उन्हें घर लौटाया गया। विज्ञापन हटाएं सिर्फ खबर पढ़ें

साइबर थाना पुलिस ने मामले में दोनों युवकों की शिकायतों पर मुकदमे दर्ज कर जांच शुरू कर दी है। इस मामले में गांव भिन्डौली के रहने वाले आकाश और सहनौली के रहने वाले अरविंद ने बताया कि जून-जुलाई माह में उन्होंने इंटरनेट मीडिया पर नौकरी के एक विज्ञापन के माध्यम से जम्मू कश्मीर के रहने वाले रफाक उर्फ राही से संपर्क किया था। धीरे-धीरे उनकी दोस्ती राही हो गई।

राही ने खुद को म्यांमार की कंपनी में एचआर के पद पर कार्यरत बताया और बैंकॉक या म्यांमार में 80,000 रुपये की नौकरी दिलाने का लालच दिया। शिकायत के अनुसार, आरोपी के कहे अनुसार नौकरी के लिए वह दोनों यांगून इंटरनेशनल एयरपोर्ट, म्यांमार पहुंचे। वहां से उन्हें एक चालक मिला, जिसने उन्हें दो दिन तक एक होटल में रखा।

इसके बाद कुछ विदेशी उनके पास आए और उन्हें एक गाड़ी में बैठाकर ले गए। कई घंटे पहाड़ी रास्ते से चलने के बाद, वे एक नदी पर पहुंचे। पीड़ितों को कुछ गड़बड़ लगी तो वह डर गए और उन्होंने चालक से वापस एयरपोर्ट छोड़ने के लिए कहा। इस पर उन आरोपियों ने हथियार निकाल लिए और उसे जबरदस्ती एक नाव में बैठाकर नदी पार कराई।

दोनों को जबरदस्ती केके पार्क नामक एक जगह पर ले जाया गया। उन्हें एक कंपनी में भेजा गया, जहां सभी कर्मचारी भारतीय थे, जबकि उन पर नियंत्रण करने वाले सभी चीनी के नागरिक थे।

पीड़ितों के अनुसार वहां पर मौजूद चीनी लोगों ने उन्हें साइबर ठगी से संबंधित काम की ट्रेनिंग देनी शुरू कर दी। उन्हें फेसबुक पर लड़की के नाम से फेक आईडी बनाकर अमेरिका में रह रहे भारतीय लोगों से दोस्ती करने को कहा गया। यदि कोई व्यक्ति अमीर पाया जाता, तो उसका फोन नंबर उनके कंपनी के लीडर को दिया जाता था।

पीड़ित आकाश ने बताया कि उक्त लीडर ने उनके फोन का वाॅट्सअप अपने पास चलाया हुआ था। उन्हें धमकाया गया कि यदि वे किसी को भी कंपनी या लोकेशन के बारे में बताएंगे या कोई फोटो खींचेंगे, तो उन्हें आर्मी के हवाले कर दिया जाएगा और वे कभी भारत नहीं जा पाएंगे। उन्हें यह काम करने के लिए मजबूर किया गया।

अरविंद के मुताबिक, 22 अक्टूबर को चार-पांच चीन के युवकों ने मिलकर एक चीन की युवती से कथित तौर पर दुष्कर्म किया। इस घटना के कारण वहां आर्मी की छापेमारी गई और सभी चीन के लोग कंपनी छोड़कर भाग गए। मौके का फायदा उठाकर सभी बंधक वहां से भाग निकले और नदी पार कर थाइलैंड पहुंचे।

वहां भारतीय दूतावास के कैंप में उन्हें शरण मिली। उन्हें अवैध सीमा पार करने के लिए जुर्माना भरने के बाद 10 नवंबर को सुरक्षित भारत वापस भेज दिया गया। इसके बाद वह अपने घर लौटे और अपनी शिकायत पुलिस में दी।

यह भी पढ़ें- दिल्ली ब्लास्ट के बाद पलवल पुलिस हाई अलर्ट पर; संदिग्धों की तलाश में बाजार, रेलवे स्टेशन, बस स्टैंड पर सघन चेकिंग शुरू
like (0)
ChikheangForum Veteran

Post a reply

loginto write comments

Explore interesting content

Chikheang

He hasn't introduced himself yet.

410K

Threads

0

Posts

1210K

Credits

Forum Veteran

Credits
120315