मोटरसाइकिल क्रूज कंट्रोल: क्या यह भारतीय सड़कों के लिए उपयोगी है?
ऑटो डेस्क, नई दिल्ली। अब भारतीय बाजार में कम्यूटर मोटरसाइकिलों में क्रूज कंट्रोल का फीचर दिया जाने लगा है। दोपहिया निर्माता कंपनियां इसे प्रीमियम फीचर्स कहकर अपनी गाड़ियों में ऑफर कर रही है। वहीं, इसके बारे में अभी तक आपने काफी कुछ सुन लिया होगा। वही, बहुत से लोगों को कहना है कि भारत जैसी सड़कों पर जहां गड्ढे, ऑटो, ट्रैक्टर और कभी-कभी गाय भी एक ही लेन चलती हुई दिखाई देती है। ऐसे में छोटी मोटरसाइकिलों में क्रूज कंट्रोल फीचर किसी मजाक जैसा लगता है। हम यहां पर आपको क्रूज कंट्रोल होता क्या है? यह किस तरह से काम करता है? और इसके फायदे क्या है? इसके बारे में विस्तार में बता रहे हैं। विज्ञापन हटाएं सिर्फ खबर पढ़ें
क्रूज कंट्रोल क्या होता है?
- क्रूज़ कंट्रोल असल में एक ऐसा सिस्टम है जो आपकी बाइक की स्पीड को अपने-आप बनाए रखता है। बस एक बटन दबाइए, स्पीड सेट कीजिए और बाइक उसी गति पर चलती रहती है। आपको लगातार थ्रॉटल पकड़े रखने की जरूरत नहीं होती है।
- मोटरसाइकिलों में क्रूज़ कंट्रोल दो तरह का होता है मैकेनिकल थ्रॉटल लॉक और इलेक्ट्रॉनिक क्रूज कंट्रोल। मैकेनिकल थ्रॉटल लॉक में थ्रॉटल को जगह पर पकड़कर रखता है और इलेक्ट्रॉनिक क्रूज कंट्रोल में सेंसर, माइक्रोचिप और सॉफ्टवेयर की मदद से स्पीड को सटीक रूप से बनाए रखा जाता है।
- इलेक्ट्रॉनिक क्रूज कंट्रोल आजकल ज्यादा आम हो रहा है क्योंकि नई मोटरसाइकिल में राइड-बाय-वायर तकनीक का इस्तेमाल हो रहा है। इसमें थ्रॉटल सीधे इंजन से जुड़ा नहीं होता, बल्कि सेंसर ECU (इंजन कंट्रोल यूनिट) को संकेत भेजते हैं। जब आप क्रूज कंट्रोल ऑन करते हैं, तो ECU खुद स्पीड को कंट्रोल करता है।
- ब्रेक, क्लच या थ्रॉटल का हल्का सा स्पर्श भी क्रूज कंट्रोल को तुरंत बंद कर देता है यानी किसी भी आपात स्थिति में बाइक का कंट्रोल तुरंत आपके हाथ में आ जाता है।
भारतीय सड़कों और राइडर्स के लिए यह कितना उपयोगी?
सबसे बड़ा सवाल यही है क्या यह फीचर भारत में काम का है? शहर की ट्रैफिक में इसका फायदा करीब नहीं के बराबर है। हाईवे और एक्सप्रेसवे पर आप लगातार एक स्पीड बनाए रख सकते हैं, यह काफी उपयोगी साबित होता है। हाईवे पर लंबी दूरी तय करते समय यह थकान कम करता है, और अनजाने में स्पीड बढ़ जाने से बचाता है। पहले यह फीचर सिर्फ महंगी विदेशी मोटरसाइकिल में आता था, लेकिन अब यह KTM, Hero और TVS जैसी अधिक किफायती मोटरसाइकिल में भी मिल रहा है।
राइड के दौरान कितनी मिलेगी सुरक्षा?
क्रूज़ कंट्रोल सिर्फ स्पीड संभालता है यह स्टेयरिंग, ब्रेकिंग या सड़क पर दौड़ती बसों का ध्यान नहीं रखता है। भारतीय खरीदारों के मन में सबसे बड़ा सवाल सुरक्षा का होता है। इलेक्ट्रॉनिक सिस्टम में सेफ्टी चेक लगी होती है। ब्रेक, क्लच या थ्रॉटल छूते ही सिस्टम बंद हो जाता है। लेकिन पुराने मैकेनिकल थ्रॉटल लॉक उतने सुरक्षित नहीं होते। इसलिए जरूरी है कि आप अपनी बाइक के क्रूज सिस्टम को अच्छी तरह समझें, मैनुअल पढ़ें और पहले इसे सुरक्षित जगह पर टेस्ट करें।
क्या आपको क्रूज कंट्रोल वाली बाइक लेनी चाहिए?
अगर आपकी राइडिंग ज्यादातर हाईवे, लंबे कम्यूट या वीकेंड टूरिंग करते हैं, तो क्रूज कंट्रोल आपके लिए एक शानदार फीचर साबित हो सकता है। यह आपके हाथ, कलाई और शरीर की थकान कम करता है। अगर आपका रोजमर्रा का सफर सिर्फ ट्रैफिक, गड्ढों और सिग्नलों में बीतता है, तो यह फीचर शायद उपयोग में ही नहीं आएगा। |