स्टेट एक्शन कमेटी की बैठक में लिया हड़ताल का फैसला।
जागरण संवाददाता, पंचकूला। पंचकूला सहित प्रदेश में स्वास्थ्य सेवाएं आने वाले दिनों में गंभीर रूप से प्रभावित हो सकती हैं। हरियाणा सिविल मेडिकल सर्विसेज एसोसिएशन (एचसीएमएस) कैडर की मांगों को लेकर स्टेट एक्शन कमेटी की बैठक रविवार को हुई।
डाॅक्टरों ने सरकार के प्रति गहरा रोष व्यक्त करते हुए चेतावनी दी कि यदि सरकार ने उनकी मांगें नहीं मानीं तो वे 8 और 9 दिसंबर को पूर्ण हड़ताल पर जाएंगे। डाक्टरों ने यह भी कहा कि यदि इसके बाद भी सरकार ने ध्यान नहीं दिया तो 10 दिसंबर से अनिश्चितकालीन हड़ताल शुरू कर दी जाएगी। विज्ञापन हटाएं सिर्फ खबर पढ़ें
इससे सेक्टर-6 सिविल अस्पताल, अर्बन हेल्थ सेंटर, पीएचसी, सीएचसी सहित कालका, पिंजौर, मोरनी, बरवाला और रायपुररानी के हजारों मरीजों को भारी परेशानी का सामना करना पड़ सकता है।
डाॅक्टरों ने आरोप लगाया कि सरकार पिछले एक वर्ष से कई वादे कर रही है, लेकिन उनमें से कोई भी पूरा नहीं हुआ। बैठक में सदस्यों ने सरकार की असंवेदनशील और लापरवाह कार्यशैली की कड़ी आलोचना की।
डॉक्टरों के अनुसार, पिछले वर्ष सरकार ने आश्वासन दिया था कि डायरेक्ट एसएमओ भर्ती बंद की जाएगी और एसएमओ पद केवल प्रमोशन से ही भरे जाएंगे। सर्विस रूल्स में संशोधन को लेकर सहमति बनी थी, लेकिन न नियम बदले गए और न ही भर्ती प्रक्रिया में सुधार हुआ।
इसी के चलते 644 में से 200 एसएमओ पद खाली पड़े हैं, जिनमें से 160 पद नियमों में संशोधन न होने के कारण अटके हुए हैं। कमेटी ने कहा कि एचसीएमएस डाॅक्टरों को केंद्र के समान चार एसीपी देने की मांग पर भी सरकार ने गंभीरता नहीं दिखाई।
आंदोलन के बाद तीन एसीपी देने पर सहमति बनी थी-5 वर्ष पर 6600 ग्रेड पे, 10 वर्ष पर 8000 ग्रेड पे और 15 वर्ष पर 9500 ग्रेड पे। मुख्यमंत्री और वित्त विभाग द्वारा इस प्रस्ताव को स्वीकार किया गया था, लेकिन एक वर्ष बीत जाने के बाद भी अधिसूचना जारी नहीं की गई।
ओपीडी समेत इमरजेंसी सेवाएं बंद रहेंगी
डाॅक्टरों का कहना है कि सरकार अपने ही स्वीकृत फैसलों को लागू करने में रुचि नहीं दिखा रही है। बैठक में निर्णय हुआ कि 8–9 दिसंबर को ओपीडी, इमरजेंसी, लेबर रूम, ओटी और पोस्टमार्टम सहित सभी सेवाएं बंद रहेंगी। डाॅक्टरों का कहना है कि वे जनता को परेशान नहीं करना चाहते, लेकिन सरकार की अनदेखी उन्हें मजबूर कर रही है।
प्रदेश सरकार को कड़ी चेतावनी
यदि 10 दिसंबर से पहले उनकी मांगें पूरी नहीं हुईं, तो पूरे हरियाणा में स्वास्थ्य सेवाएं अनिश्चितकाल के लिए ठप हो जाएंगी। समिति ने स्पष्ट कहा कि इस स्थिति से होने वाली असुविधा की पूरी जिम्मेदारी सरकार की होगी। बताते चलें कि 27 नवंबर को दो घंटे की सांकेतिक हड़ताल के दौरान भी मरीजों को काफी इंतजार और परेशानी का सामना करना पड़ा था। |