आयोग ने पारदर्शिता व गोपनीयता को लेकर उठे सवालों पर विस्तार से की स्थिति स्पष्ट. Concept Photo
राज्य ब्यूरो, जागरण, देहरादून । उत्तराखंड अधीनस्थ सेवा चयन आयोग (यूकेएसएसएससी) की 21 सितंबर, 2025 को स्नातक स्तरीय प्रतियोगी परीक्षा में शुचिता और गोपनीयता को लेकर उठे सवालों के जवाब में आयोग ने स्थिति स्पष्ट की है।
आयोग ने बताया कि प्रदेश के सभी 445 परीक्षा केंद्रों में परीक्षा से पूर्व ही 5जी तकनीक पर आधारित जैमर स्थापित कर दिए गए थे, जिनकी प्रभावशीलता 10 से 15 मीटर की दूरी तक है।
इन जैमर का मुख्य उद्देश्य परीक्षा को नकल विहीन और सुरक्षित बनाना था। आयोग ने स्पष्ट किया कि जैमर सभी कक्षा-कक्षों में लगे होना आवश्यक नहीं है, लेकिन उनकी कवरेज पूरे परीक्षा केंद्र पर सुनिश्चित की गई थी। हरिद्वार जिले के एक परीक्षा केंद्र में परीक्षा की गोपनीयता भंग होने के एक मामले की जांच की जा रही है, लेकिन वहां भी जैमर पूरी क्षमता से कार्य कर रहे थे। mewat-crime,Mewat news,minor girl conversion,forced marriage,Mewat crime,police arrest,religious conversion,fake witnesses,Moulvi arrested,Tauru news,Haryana crime,Haryana news विज्ञापन हटाएं सिर्फ खबर पढ़ें
परीक्षा की गोपनीयता सुनिश्चित करने के लिए आयोग की ओर से प्रश्नपत्रों की छपाई से लेकर वितरण तक की पूरी प्रक्रिया को जिला प्रशासन की निगरानी में रखा गया। सभी गोपनीय सामग्री संबंधित जनपद के कोषागार के डबल लाक में रखी गई और परीक्षा के दिन पुलिस अभिरक्षा में नामित सेक्टर मजिस्ट्रेट द्वारा परीक्षा केंद्रों तक पहुंचाई गई।
सुरक्षा के दृष्टिगत प्रत्येक परीक्षा केंद्र में दो सीसीटीवी कैमरे लगाए गए थे। साथ ही, परीक्षा के दौरान पहले से स्थापित हाई रेजोल्यूशन कैमरों को बंद रखा गया ताकि प्रश्नपत्र की फोटो खींचने या बाहर भेजने की किसी भी संभावना को रोका जा सके, क्योंकि इन कैमरों का एक्सेस कई व्यक्तियों के पास होता है।
परीक्षा की ओएमआर शीट की मूल प्रति परीक्षा केंद्र पर सीसीटीवी की निगरानी में सील की गई और उसे आयोग को मूल्यांकन के लिए भेजा गया, जबकि कार्बन प्रति को डबल लाक कोषागार में सुरक्षित रखा गया है। अभ्यर्थी किसी भी भ्रामक जानकारी या अफवाहों पर ध्यान न दें और आयोग की ओर से अपनाई गई निष्पक्ष प्रक्रिया पर विश्वास रखें। - डा.शिव कुमार बरनवाल सचिव, यूकेएसएसएससी
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