जागरण संवाददाता, सीतापुर। : जिलाधिकारी डा़ राजा गणपति आर ने सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र कसमंडा का निरीक्षण किया। उनको अस्पताल में दिन के हिसाब से बेडशीट का कलर नहीं मिला। इस पर जिलाधिकारी ने ब्लाक प्रोग्राम मैनेजर (बीपीएम) कोहिनूर व ब्लाक एकांउट मैनेजर (बैम) मोहम्मद फारूख का 15-15 दिनों का वेतन रोकने के निर्देश दिए हैं। विज्ञापन हटाएं सिर्फ खबर पढ़ें
अस्पताल में मरीजों के रेफर, हाई रिस्क प्रेग्नेंसी (एचआरपी) रजिस्टर एवं लेबर रूम रजिस्टर में कमी मिलने पर स्टाफ नर्स आराध्या के साथ प्रतिभा को कारण बताओ नोटिस जारी की है। अस्पताल में निरीक्षण के दौरान साफ-सफाई की व्यवस्था सही नहीं मिली। इस पर नाराजगी व्यक्त करते हुए स्वास्थ्यकर्मियों को व्यवस्थाएं दुरुस्त करने के निर्देश दिए हैं।
सोमवार सुबह जिलाधिकारी सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र कसमंडा पहुंचे। उन्होंने टीकाकरण कक्ष, पीएमसी वार्ड, मातृ सुरक्षा केंद्र, लेबर रूम, औषधि कक्ष का अवलोकन किया। स्टाफ नर्स से प्रसव के समय प्रयोग होने वाले उपकरणों के बार में जानकारी ली। वार्ड में भर्ती मरीजों से भी जानकारी ली।
जिलाधिकारी ने चिकित्सकों, फार्मासिस्ट, स्टाफ नर्स की उपस्थिति पंजिका का जायजा लिया। अस्पताल में बेडशीट कलर कोडिंग न होने पर बैम व बीपीएम का 15-15 दिन का वेतन रोकने के निर्देश दिए। मातृ सुरक्षा केंद्र के निरीक्षण के दौरान रजिस्टर का अवलोकन किया।
इसके साथ ही रेफर रजिस्टर, एचआरपी रजिस्टर एवं लेबर रूम रजिस्टर में कमी मिलने पर स्टाफ नर्स आराध्या एवं प्रतिभा को नोटिस कारण बताओ नोटिस दी है।
रेफर की गईं गर्भवती से ली जानकारी
सीएचसी से रेफर की गईं हाई रिस्क प्रेग्नेंसी वाली गर्भवती से फोन पर वार्ता कर उनके स्वास्थ्य के बारे में जानकारी ली। उन्होंने पूछा कि अस्पताल में इलाज के दौरान कोई समस्या तो नहीं हुई।
निरीक्षण के तीस मिनट बाद अस्पताल पहुंचे अधीक्षक
जिलाधिकारी ने सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र कसमंडा का निरीक्षण किया। अस्पताल में निरीक्षण के दौरान अधीक्षक डा़ राजीव वर्मा के न मिलने पर जिलाधिकारी ने मुख्य चिकित्सा अधिकारी डा़ सुरेश कुमार से जानकारी ली तो बताया कि वह अवकाश पर है।
वहीं, दूसरी ओर जिलाधिकारी के जाने के करीब तीस मिनट के बाद अधीक्षक अस्पताल पहुंचे। चर्चा है कि वह लखनऊ से ही हर रोज आते-जाते हैं। रविवार को भी वह लखनऊ ही गए थे, जिलाधिकारी के आने पर वह देर से अस्पताल पहुंचे। |