जागरण संवाददाता, सोनीपत। फाइनेंसरों से तंग होकर चार बेटियों के पिता ने ट्रेन के आगे कूदकर आत्महत्या कर ली। ट्रैक पर शव मिलने की सूचना पर पहुंची जीआरपी ने शव का पोस्टमार्टम करवाकर स्वजन को सौंप दिया है। जीआरपी ने फिलहाल आत्महत्या का मामला दर्ज किया है। वहीं, स्वजनों ने फाइनेंसरों पर आत्महत्या के लिए विवश करने के आरोप लगाते हुए कड़ी कार्रवाई की मांग की है। विज्ञापन हटाएं सिर्फ खबर पढ़ें
कालूपुर के अंग्रेज व दीपक ने बताया कि उनका भाई श्रवण (50) रंगाई-पुताई का काम कर परिवार का गुजारा चलाता था। सोमवार सुबह वह बेटियों को काम पर जाने की बात कहकर घर से निकले थे, लेकिन देर रात तक घर नहीं लौटे।
फोन बंद मिलने पर परिवार की चिंता बढ़ने लगी। सुबह जीआरपी को उनका शव दिल्ली-अंबाला रेलमार्ग पर मोहन नगर के पास डाउन ट्रैक पर मिला। शव के पास मिले मोबाइल से उसकी पहचान हो सकी।
स्वजन का कहना है कि श्रवण पिछले काफी समय से कर्ज के बोझ तले दबा हुआ था। उसके चचेरे भाई दीपक के मुताबिक श्रवण ने अपने परिचित अंगद को ब्याज पर पैसे दिलवाए थे। अंगद ने ही बताया था कि श्रवण ने फाइनेंसर से काफी पैसे ब्याज पर लिए थे।
फाइनेंसर 10 रुपये प्रति सैकड़ा के हिसाब से ब्याज वसूल रहा था। अब वह पैसों के लिए दबाव बनाने लगे थे, जिससे वह मानसिक रूप से टूट गया था। स्वजनों ने श्रवण को आत्महत्या के लिए विवश करने वालों के खिलाफ सख्त कार्रवाई करने की मांग की है।
चार बेटियों का पिता था श्रवण
श्रवण चार बेटियों का पिता था और परिवार का अकेला कमाने वाला सदस्य था। एक बेटी की शादी हो चुकी है, जबकि तीन अविवाहित हैं। इनमें छोटी बेटी हाॅकी का अभ्यास करती है। पिता की मौत की खबर मिलते ही घर में कोहराम मच गया और बेटियों का रो-रोकर बुरा हाल है।
श्रवण का पत्नी से करीब 15 साल पहले तलाक हो गया था। तीन बेटियां पिता के पास और एक बेटी मां के पास रहती थी। हालांकि पति-पत्नी में से किसी ने भी दूसरी शादी नहीं की। वह बेटियां से मिलने आती रहती थी।
यह भी पढ़ें- Air Pollution: सोनीपत से लेकर ग्रेटर नोएडा तक जहर! टॉप-10 सबसे प्रदूषित शहरों में सिर्फ NCR
मोहन नगर के पास डाउन ट्रैक पर सुबह एक व्यक्ति का शव पड़ा होने की सूचना मिली थी। शव के पास मिले मोबाइल से उसकी पहचान श्रवण के रूप में हुई। स्वजनों ने श्रवण के मानसिक रूप से परेशान होने की शिकायत दी है, उसके आधार पर कार्रवाई करते हुए पोस्टमार्टम के बाद शव स्वजन के सुपुर्द कर दिया।
-
- विजयपाल, प्रभारी, जीआरपी |