deltin51
Start Free Roulette 200Rs पहली जमा राशि आपको 477 रुपये देगी मुफ़्त बोनस प्राप्त करें,क्लिकtelegram:@deltin55com

नैनीताल उच्च न्यायालय ने भवाली सेनिटोरियम में मल्टी सुपर स्पेशलिटी अस्पताल का प्रस्ताव मांगा

Chikheang 2025-11-18 22:38:10 views 632

  

नैनीताल हाईकोर्ट।



जागरण संवाददाता, नैनीताल: हाई कोर्ट ने राज्य के पर्वतीय क्षेत्रों और जिला-उपजिला अस्पतालों में मूलभूत सुविधाओं की भारी कमी को दूर करने, सरकारी अस्पतालों में सुविधाएं बढ़ाने, नैनीताल बीडी पाण्डे अस्पताल की दशा सुधारने को लेकर दायर राज्य विधिक सेवा प्राधिकरण की जनहित याचिका पर सुनवाई की। कोर्ट ने महानिदेशक स्वास्थ्य को नैनीताल के समीपवर्ती भवाली सेनिटोरियम में मल्टी स्पेशलिटी अस्पताल का आर्किटेक्ट से तैयार प्रस्ताव पहली दिसंबर तक पेश करने के निर्देश दिए हैं। साथ ही आदेश की कापी स्वास्थ्य मंत्री व स्वास्थ्य सचिव को भेजकर प्रस्ताव पर विचार करने को कहा है। विज्ञापन हटाएं सिर्फ खबर पढ़ें

मंगलवार को मुख्य न्यायाधीश न्यायमूर्ति जी नरेंद्र व न्यायमूर्ति सुभाष उपाध्याय की खंडपीठ में महानिदेशक स्वास्थ्य डा. सुनीता टम्टा कोर्ट में पेश हुई और उन्होंने बीडी पाण्डे जिला अस्पताल, रैमजे अस्पताल के पास उपलब्ध भूमि का मानचित्र पेश किया।

कोर्ट ने सुप्रीम कोर्ट में सरकार के नैनीताल में दो सुपर स्पेशलिटी अस्पताल होने के आश्वासन का जिक्र करते हुए नैनीताल में यातायात समस्या को देखकर भवाली सेनिटाेरियम में मल्टी स्पेशलिटी अस्पताल का प्रस्ताव उपलब्ध कराने के निर्देश दिए हैं, ताकि पर्वतीय इलाकों के मरीजों को इसका लाभ मिल सके।

राज्य विधिक सेवा प्राधिकरण की ओर से पेश अधिवक्ता दुष्यंत मैनाली ने कोर्ट को बताया कि लोगों को पर्याप्त चिकित्सा सुविधाएं प्रदान करना कल्याणकारी राज्य में किसी भी सरकार के दायित्वों का एक अनिवार्य हिस्सा है। संविधान का अनुच्छेद-21 राज्य पर प्रत्येक व्यक्ति के जीवन के अधिकार की रक्षा करते हैं, इसलिए मानव जीवन का संरक्षण सर्वोपरि है।

सरकार की ओर से पर्याप्त और समय पर चिकित्सा सहायता प्रदान करने में विफलता अनुच्छेद 21 के तहत प्रदत्त जीवन के अधिकार का उल्लंघन है।

उन्होंने कहा कि अल्मोड़ा जिले में चौखुटिया, भिकियासैंण, स्याल्दे में स्वास्थ्य सुविधाओं को लेकर आंदोलन व पद यात्रा कर रहे हैं, लेकिन अब तक इस दिशा में कोई ठोस कदम नहीं उठाया गया है। अस्पतालों में पैरामेडिकल स्टाफ व चिकित्सकों के आवासों की कमी है।

याचिका में यह भी कहा गया है कि मंडल मुख्यालय नैनीताल के अलावा पिथौरागढ़, बागेश्वर, चंपावत, अल्मोड़ा, टिहरी गढ़वाल, पौड़ी गढ़वाल, उत्तरकाशी, रुद्रप्रयाग, चमोली जैसे जिला मुख्यालय भी हैं, जहां सामुदायिक व प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र-मेडिकल कॉलेज इतनी अधिक दूरी पर स्थित हैं कि दूरदराज के इलाकों से आने वाले बीमार व्यक्ति को वहां पहुंचने में कम से कम छह से नौ घंटे का कष्टदायक सफर करना पड़ता है और यदि वहां से भी उसे हल्द्वानी, ऋषिकेश, देहरादून जैसे किसी अन्य उच्चतर केंद्र में रेफर कर दिया जाता है, तो उसके बचने की संभावना काफी कम हो जाती है।
याचिका में यह उठाई मांग

याचिका में राज्य के सभी 13 जिला अस्पतालों में डॉक्टरों, नर्सों, पैरामेडिकल स्टाफ आदि की कमी को दूर करने और भारतीय लोक स्वास्थ्य मानक (आईपीएचएस) के अनुसार आवश्यक चिकित्सा उपकरण उपलब्ध कराने, विशेष रूप से पहाड़ी जिलों में मल्टी-स्पेशलिटी अस्पतालों की स्थापना और संचालन को प्रभावी कदम उठाने, बीडी पाण्डे जिला अस्पताल नैनीताल में चिकित्सा सुविधाओं का दायरा बढ़ाने और मौजूदा स्वास्थ्य सेवा बुनियादी ढांचे को और उन्नत करने के लिए प्रभावी कदम उठाने के निर्देश जारी करने की प्रार्थना की गई है।
like (0)
ChikheangForum Veteran

Post a reply

loginto write comments

Explore interesting content

Chikheang

He hasn't introduced himself yet.

410K

Threads

0

Posts

1210K

Credits

Forum Veteran

Credits
120351