जागरण संवाददाता, रामपुर। उद्यान विभाग के कार्यालय में आए बीज जलाने के कारण में विभाग के निरीक्षण ब्रजमणी गहलौत निलंबित हो गए हैं। निलंबन की यह कार्रवाई उन पर शासन स्तर से की गई है।
इस मामले में प्रशासन के हस्तक्षेप के बाद उद्यान अधीक्षक अजय कुमार के स्तर से रिपोर्ट शासन को भेजी गई थी। उद्यान अधीक्षक ने शासन स्तर से हुई इस निलंबन की कार्रवाई की पुष्टि की है।
बीज जलाने का यह मामला शुक्रवार का है। दोपहर में वितरण को आया किसानों का कुछ बीज बच गया था। इसे वापस नहीं भेजा गया। किला परिसर स्थित उद्यान विभाग के कार्यालय परिसर स्थित केंद्र पर ही रखा रहा था। पिछले दिनों कार्यालय की सफाई के दौरान उसे बाहर निकालकर कूडे के ढेर पर डाल दिया गया था। विज्ञापन हटाएं सिर्फ खबर पढ़ें
बाद में उद्यान विभाग की किला परिसर वाली पौधशाला के समीप एवं मंच के पीछे वाले भाग में पड़े बीज को आग के हवाले कर दिया गया था। यह मामला उस समय तूल पकड़ गया था जब इसकी भनक लगने पर मीडिया कर्मी भी मौके पर पहुंच गए थे और मामला प्रशासन के संज्ञान में भी आ गया था।
जिलाधिकारी अजय कुमार द्विवेदी के निर्देश पर मुख्य विकास अधिकारी गुलाब चन्द्र के द्वारा इस मामले में रिपोर्ट तलब की गई। इसके बाद ही उद्यान अधीक्षक अजय कुमार ने रिपोर्ट भेजी थी। रिपोर्ट में कहा गया था कि शुक्रवार को कार्यालय स्थित राजकीय पौधशाला किला परिसर में कुछ बीज सामग्री आदि जलाने की सूचना प्राप्त हुई थी। उसका तत्काल संज्ञान लेते हुए प्रकरण की प्रारंभिक जांच की गई।
जांच में दोषी पाए जाने पर उद्यान निरीक्षक वर्ग दो- ब्रजमणी गहलौत व दो अन्य के विरूद्ध अनुशासनिक कार्रवाई व प्रकरण की विस्तृत जांच हेतु आख्या व प्रस्ताव को प्रेषित की गई। इसी रिपोर्ट के आधार पर सोमवार को शासन स्तर से दोषी पाए गए उद्यान निरीक्षक ब्रजमणी गहलौत को निलंबित कर किया गया है।
मौके पर पाए गए थे भिंडी आदि के बीज
जलाए बीज वाले स्थान पर शेष बचे कट्टों व पैकेट पर एनएचआरडीएफ लिखा था। कुछ पर प्याज सा चित्र बना था। कुछ पर पैकिंग की तिथि 16 अगस्त 2023 व एक्सपायर तिथि 18 मार्च 2024 अंकित थी। वहीं मौके पर पाए गए बारीक काले व अन्य तरह के बीज भिंडी आदि सब्जियों के पाए गए थे। मामले को प्रशासन के संज्ञान लेने पर ही हरकत में आए विभाग ने इसकी रिपोर्ट शासन को भेजी थी।
आग लगाकर विभाग आ गया चर्चा में
कूड़ा जलाने तक पर प्रतिबंध है। इसके बाद भी कूडे के साथ बीज भी आग के हवाले कर दिया था। हालांकि कुछ अधिकारी नाम नहीं छापने की शर्त पर बताते हैं कि सरकारी विभागों में पुरानी सामग्री निस्तारण के मामले में प्रक्रिया यह होती है कि कमेटी बनाकर उसका निस्तारण किया जाता है।
अनुपयोगी है तो उसे गड्ढा खोदकर दबवाया जाता है। यदि उपयोग में आ सकने वाली होती है तो उसकी नीलामी की प्रक्रिया अपनाई जाती है लेकिन इस सामग्री के रखरखाव के जिम्मेदार इस बीज आदि को बाहर कूड पर डालकर व आग के हवाले कराकर खुद ही चर्चा में आ गए। |